जानें Asexuality से जुड़ी पाँच मिथ जो हम सच मान लेते है

एसेक्सुअलिटी के बारे में अभी भी समाज में बहुत सारी गलत धारणाएं हैं। अभी भी यह माना जाता है कि एसेक्सुअल लोगों में सेक्स करने की इच्छा नहीं होती या फिर उनमें सेक्स ड्राइव नहीं होती। आज हम इसी टॉपिक पर बात करेंगे और इससे जुड़ी मिथ्स बताएंगे-(Image Credit: cleaveland clinic)

असेक्सुअल लोग सेक्स नहीं करते

यह एक अधूरा सच है। असेक्सुअल लोग सेक्स करते हैं लेकिन उनमें जरूरी नहीं है कि सेक्सुअल अट्रैक्शन हो। सेक्स करने का जरूरी नहीं है हमेशा एक ही कारण हो इसके और भी कई कारण हो सकते हैं।(Image Credit: The fulcrum)

एसेक्सूअल मानसिक रोग है

यह भी एक मिथ है। एसेक्सुयल होना कोई मानसिक बीमारी नहीं है। यह एक सेक्सुअल ओरिएंटेशन है जैसे होमसेक्सुअलिटी, बायसेक्सुअल और पैनसेक्सुअलिटी है। (Image Credit: Psych2Go).

सेक्सुअलिटी से जुड़ा पास्ट ट्रॉमा

एसेक्सुएलिटी एक सेक्सुअल ओरिएंटेशन जिसका पास्ट ट्रॉमा से कोई संबंध नहीं होता। इसमें व्यक्ति को सेक्स प्रति कोई डर नहीं होता। उसके अंदर सेक्स के लिए इच्छा नहीं होती।( Image Credit: Quora)

एसेक्सुअलिटी चॉइस है

एसेक्सुअलिटी कोई चॉइस नहीं है। इसे हमेशा सेलीबेसी से जोड़ दिया जाता है जिसमें व्यक्ति अपनी इच्छा से यौन कार्यों से दूर रहता है लेकिन यह ऐसा बिल्कुल भी नहीं है। इसमें व्यक्ति के अंदर सेक्सुअल अट्रैक्शन की कमी होती है।(Image Credit: thought catalogue)

रोमांटिक रिलेशन भी नहीं होता

यह भी मान लिया जाता है कि असेक्सुअल लोगों का रोमांटिक रिलेशनशिप नहीं होता लेकिन यह भी एक मिथ है। असेक्सुअल लोग किसी की तरफ सेक्सुअल अट्रैक्ट नहीं होते लेकिन और किसी चीज से आकर्षित हो सकते हैं। जिस कारण एक रोमांटिक रिलेशन इनके बीच पैदा हो सकता है।(Image Credit: IPPF)