Advertisment

Women Soar: खेलों में रिकार्ड तोड़ती महिलाएं

जगत में महिलाएं अब न सिर्फ भाग ले रहीं हैं बल्कि पुरुषों के बराबर रिकॉर्ड भी तोड़ रही हैं।ये एक सकारात्मक बदलाव है जो परंपरागत सोच को चुनौती दे रहा है और साथ ही साथ यह महिला सशक्तिकरण की एक मिसाल भी है। 

author-image
Anusha Ghosh
New Update
png 87

(Olympics)

Women Soar: खेल जगत में महिलाएं अब न सिर्फ भाग ले रहीं हैं बल्कि पुरुषों के बराबर रिकॉर्ड भी तोड़ रही हैं। ये एक सकारात्मक बदलाव है जो परंपरागत सोच को चुनौती दे रहा है और साथ ही साथ यह महिला सशक्तिकरण की एक मिसाल भी है। आइये देखें कि कैसे विभिन्न खेलों में महिलाएं रिकॉर्ड बना रही हैं और खेल के मैदान में धूम मचा रही हैं। 

Advertisment

खेल जगत में महिलाएं ध्वज लहरा रहीं हैं: रिकॉर्ड तोड़ने का सिलसिला जारी

बास्केटबॉल में ऊंची छलांग

अमेरिकी महिला बास्केटबॉल खिलाड़ी ज Jewell लॉयड ने 2023 में WNBA (Women's National Basketball Association) में एक शानदार रिकॉर्ड बनाया. उन्होंने सिएटल स्टॉर्म की तरफ से खेलते हुए पूरे सीजन में सबसे ज्यादा 939 अंक हासिल किए। इससे पहले ये रिकॉर्ड उनकी ही टीम की साथी ब्रायना स्टीवर्ट के नाम था, जिन्होंने 919 अंक हासिल किए थे। जवेल की ये उपलब्धि उनकी मेहनत और लगन का जीता जागता सबूत है। 

Advertisment

फ़ुटबॉल में बढ़ती लोकप्रियता

फुटबॉल की दुनिया में भी महिलाएं अपना दबदबा बना रही हैं। 2023 फीफा महिला विश्वकप ऑस्ट्रेलिया और न्यूज़ीलैंड में आयोजित किया गया, जहां कई रिकॉर्ड टूटे। पूरे टूर्नामेंट में लगभग दो मिलियन दर्शक स्टेडियम में मैच देखने पहुंचे, जो महिला विश्वकप के इतिहास में सबसे ज्यादा है। इतनी बड़ी संख्या में दर्शकों की मौजूदगी इस बात का प्रमाण है कि महिला फ़ुटबॉल तेजी से लोकप्रिय हो रहा है। 

क्रिकेट में नया मुकाम

Advertisment

भारत में भी महिला क्रिकेट  लगातार नई ऊंचाइयों को छू रहा है। भारतीय महिला क्रिकेट टीम दुनिया की सबसे मजबूत टीमों में से एक बनकर उभरी है। हरमनप्रीत कौर और स्मृति मंधाना जैसी खिलाड़ी न केवल शानदार बल्लेबाज़ हैं बल्कि रिकॉर्ड भी बना रही हैं। यह युवा पीढ़ी के लिए प्रेरणा का स्त्रोत हैं और देशभर में क्रिकेट को अपनाने वाली लड़कियों की संख्या में इजाफा हो रहा है। 

अन्य खेलों में भी धमाल

यह सिलसिला सिर्फ बास्केटबॉल, फुटबॉल और क्रिकेट तक ही सीमित नहीं है। एथलेटिक्स में भी महिलाएं कमाल कर रही हैं। कई भारतीय महिला धावकों ने राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर शानदार प्रदर्शन किया है। हिमा दास जैसी खिलाड़ी ने तो 400 मीटर रेस में राष्ट्रीय रिकॉर्ड भी बनाया है। वहीं, पर्वतारोहण के क्षेत्र में भी महिलाएं पीछे नहीं हैं। स्पेन की एडुर्ने पा सबान पहली महिला हैं जिन्होंने दुनिया के सभी 14 सबसे ऊंचे पहाड़ों (आठ हजार मीटर से ऊपर) पर सफलतापूर्वक चढ़ाई की है। 

Advertisment

बदलता हुआ नज़रिया

खेलों में महिलाओं की बढ़ती भागी दारी समाज में सकारात्मक बदलाव ला रही है। अब माता-पिता भी बेटियों को खेलों में आगे बढ़ाने के लिए प्रोत्साहित कर रहे हैं। स्कूलों और कॉलेजों में भी महिलाओं के लिए खेल सुविधाओं का विकास हो रहा है। इसका नतीजा ये हो रहा है कि विभिन्न खेलों में महिलाओं की प्रतिभा निखर कर सामने आ रही है। 

आने वाला कल और भी उज्ज्वल खेलों में महिलाओं का भविष्य निष्कर्ष

निश्चित रूप से, महिलाओं ने खेलों में अपनी प्रतिभा और क्षमता का शानदार प्रदर्शन करके यह साबित कर दिया है कि वे पुरुषों से कम नहीं हैं। आने वाले समय में और भी बेहतर सुविधाओं, प्रशिक्षण और प्रोत्साहन के साथ, महिलाएं खेल जगत में नई ऊंचाइयों को छूने के लिए पूरी तरह तैयार हैं।

यह बदलाव सिर्फ खेलों तक ही सीमित नहीं रहेगा। महिलाओं की सफलता समाज के हर क्षेत्र में प्रेरणा का स्त्रोत बनेगी और उन्हें आगे बढ़ने और अपनी मंजिल हासिल करने के लिए प्रोत्साहित करेगी।

Women Soar
Advertisment