Women Oriented Bollywood Movies of the 90s: 90 के दशक की फिल्मों को लोग आज भी बहुत पसंद करते हैं। ये फ़िल्में अपनी काहनियों के लिए जानी जाती हैं। 90 के दशक में जब हमारे समाज में महिलाओं को लेकर कई रूढ़ियाँ प्रचलित थीं। तब भी बॉलीवुड ने महिलाओं की समस्याओं को बड़े पर्दे पर फिल्मों के माध्यम से प्रदर्शित किया और लोगों को महिलाओं के जीवन में होने वाली तमाम समस्याओं तक पहुंचाया। जिस तरह आज कल बॉलीवुड में महिलाओं पर केन्द्रित फ़िल्में बनाई जाती हैं उसी प्रकार 90 के दशक में भी महिला केन्द्रित फिल्मों का निर्माण हुआ और इन फिल्मों को लोगों ने खूब सराहा भी। आइये जानते हैं 90 के दशक की कुछ वुमन ओरिएंटेड बॉलीवुड फ़िल्में
90 के दशक की कुछ वुमन ओरिएंटेड बॉलीवुड मूवीज
1. "दामिनी" (1993)
राजकुमार संतोषी के डायरेक्शन में बनी इस फिल्म में मीनाक्षी शेषाद्रि लीड रोल में नजर आईं हैं। यह फ़िल्म एक महिला की कहानी के इर्द-गिर्द घूमती है जो एक नौकरानी के लिए न्याय की लड़ाई लड़ती है जिसके साथ उसके जीजा ने बलात्कार किया था।
2. "खून भरी मांग" (1988)
यह फ़िल्म 80 के दशक के अंत में रिलीज़ हुई थी, जिसमें रेखा जी ने अपने अभिनय से लोगों को एक नया मैसेज दिया। उनकी इस रिवेंज ड्रामा फ़िल्म को 90 के दशक में काफी प्रशंसा मिली। इस फ़िल्म में एक महिला की लाइफ जर्नी को दिखाया गया है जो उसके साथ गलत करने वालों से बदला लेने के लिए परिवर्तन से गुजरती है।
3. "दुश्मन" (1998)
काजोल की डबल रोल वाली, तनुजा चंद्रा के डायरेक्शन में बनी यह साइकोलॉजिकल थ्रिलर जुड़वां बहनों की कहानी है, जिनमें से एक बहन अपनी दूसरी बहन की हत्या का रिवेंज लेना चाहती है। इस फिल्म में काजोल के अभिनय को आलोचकों की भी प्रशंसा मिली।
4. "रुदाली" (1993)
कल्पना लाजमी द्वारा डायरेक्टेड इस फिल्म में डिंपल कपाड़िया एक गांव में एक पेशेवर शोक मनाने वाली (रुदाली) की भूमिका में नजर आईं हैं। यह भारत के गांवों में प्रचलित जेंडर, कम्युनिटी और सामाजिक मानदंडों के विषयों की पड़ताल कराती है।
5. "लज्जा" (2001)
राजकुमार संतोषी के डायरेक्शन में निर्मित इस फिल्म में रेखा, माधुरी दीक्षित, मनीषा कोइराला और महिमा चौधरी जैसे कई बड़े कलाकार शामिल हैं। यह फिल्म चार आपस में जुड़ी हुई कहानियों के माध्यम से भारतीय समाज में महिलाओं द्वारा सामना किए जाने वाले संघर्षों और अन्यायों पर प्रकाश डालती है।
6. "फायर" (1996)
इस फिल्म को दीपा मेहता ने डायरेक्ट किया है यह कॉन्ट्रोवर्शियल फिल्म एक भारतीय परिवार के अंदर समलैंगिक संबंधों के वर्जित विषय की पड़ताल करती है। शबाना आज़मी और नंदिता दास अभिनीत, "फायर" ने सामाजिक मानदंडों और व्यक्तिगत स्वतंत्रता के बारे में बहस और चर्चा को जन्म दिया।
7."गुप्त: द हिडन ट्रुथ" (1997)
मुख्य रूप से एक थ्रिलर मूवी होने के बावजूद, राजीव राय के निर्देशन में बनी इस फिल्म में काजोल एक मजबूत महिला प्रधान भूमिका में नज़र आईं हैं। वह एक ऐसी महिला की भूमिका निभाती है जिस पर अपने ही पिता के मर्डर का झूठा आरोप लगाया गया है और उसे अपनी बेगुनाही साबित करनी होती है।
8. "जख्म" (1998)
महेश भट्ट द्वारा निर्देशित यह फिल्म अपने राइटर और कास्ट अजय देवगन और पूजा भट्ट के पर्सनल एक्सपीरियंसेस से प्रेरित है। इस फिल्म में इंटर-रिलिजन रिश्तों की कठिनाइयों और एक महिला द्वारा सामना किए जाने वाले संघर्षों को दिखाया गया है जो अपनी मुस्लिम पहचान और अपने आसपास के हिंदू समाज के बीच फंसी हुई है।