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अब समय आ गया है कि हम अपने समाज में थोड़े बदलाव लाएं और सभी को यह सिखाएं कि हमें महिलाओं की इज़्ज़त सिर्फ दिखावे के लिए ही नहीं करनी चाहिए बल्कि हमें अंदर से उन्हें इज़्ज़त देना चाहिए। घर के लड़को और पुरुषो को यह सिखाने की जरूरत है कि अकेली लड़की उनके लिए मौका नहीं उनकी जिम्मेदारी है । हमे उन्हें लड़कियों की रेस्पेक्ट करना और उनकी जिम्मेदारी समझाना है। आज हम ऐसे ही कई सारे पॉइंट्स की बात करेंगे जिन्हे करके हम बच्चों को लड़कियों का रेस्पेक्ट करना सीखा सकते है -
हमें अपने बच्चो को बचपन से ही अच्छे अच्छे संस्कार देना चाहिए और साथ ही उन संस्कारों के साथ साथ नारियों का सम्मान विशेष रूप से सिखाएं। उन्हें हमारे ग्रंथो के बारे में बताएं और उस में नारियों के रोल को और उनके इम्पोर्टेंस को समझाएं। नारियो को क्यों हम देवियों की तरह पूजते हैं उन्हें यह समझाएं। उन्हें आप अगर सिर्फ कहांनिया सुनाने से बात नहीं बनेगी उन्हें उसके महत्व भी समझाएं।
आज हमे समाज में बच्चों को यह समझाने की आवश्यकता है कि हमारे समाज में महिलाओं का क्या इम्पोर्टेंस है। अगर हम उन्हें यह समझाने में सफल हो गए कि हमारे समाज व देश में महिलाओं की कितनी जरूरत है व उनका हमारे समाज व देश में क्या क्या योगदान है तो वो खुद ही उनकी इज़्ज़त करने लगेंगे।
माना कि नेचर ने पुरुषों को शारीरिक रूप से शक्तिशाली बनाया है पर इसलिए नहीं कि वो इस शक्ति का इस्तेमाल महिलाओं पर करें। पुरुषों को विशेष रूप से ये ध्यान देना चाहिए कि वो बच्चो के सामने कभी भी किसी महिला पर हाथ न उठाएं। अगर आप उन के सामने हाथ उठांएगे तो वो यही समझेंगे कि वो हाथ उठाकर महिलाओं को दबा सकते हैं।
1. बचपन से ही सही आदत डालें
हमें अपने बच्चो को बचपन से ही अच्छे अच्छे संस्कार देना चाहिए और साथ ही उन संस्कारों के साथ साथ नारियों का सम्मान विशेष रूप से सिखाएं। उन्हें हमारे ग्रंथो के बारे में बताएं और उस में नारियों के रोल को और उनके इम्पोर्टेंस को समझाएं। नारियो को क्यों हम देवियों की तरह पूजते हैं उन्हें यह समझाएं। उन्हें आप अगर सिर्फ कहांनिया सुनाने से बात नहीं बनेगी उन्हें उसके महत्व भी समझाएं।
2. महिलाएं क्यों है जरुरी है ये बताएं
आज हमे समाज में बच्चों को यह समझाने की आवश्यकता है कि हमारे समाज में महिलाओं का क्या इम्पोर्टेंस है। अगर हम उन्हें यह समझाने में सफल हो गए कि हमारे समाज व देश में महिलाओं की कितनी जरूरत है व उनका हमारे समाज व देश में क्या क्या योगदान है तो वो खुद ही उनकी इज़्ज़त करने लगेंगे।
3. डोमेस्टिक वायलेंस के खिलाफ खड़े रहना सिखाएं
माना कि नेचर ने पुरुषों को शारीरिक रूप से शक्तिशाली बनाया है पर इसलिए नहीं कि वो इस शक्ति का इस्तेमाल महिलाओं पर करें। पुरुषों को विशेष रूप से ये ध्यान देना चाहिए कि वो बच्चो के सामने कभी भी किसी महिला पर हाथ न उठाएं। अगर आप उन के सामने हाथ उठांएगे तो वो यही समझेंगे कि वो हाथ उठाकर महिलाओं को दबा सकते हैं।