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दिल की सेहत सुधारे
कार्डियोवस्कुलर बीमारियां आजकल आम हो गयी हैं। 30 की उम्र में ही ये बीमारियां लोगों को घेरने लगीं हैं। आजकल दिल की बीमारियां और स्ट्रोक होने का खतरा काफी बढ़ गया है। योग ऐसा व्यायाम है, जो कार्डियो सेहत को सुधारा है। श्वास प्रक्रिया को नियंत्रित कर योग हमारी धड़कनों को नियंत्रित करने में मदद करता है। अधिक मेहनत करने की परिस्थिति में भी दिल पर कम जोर पड़ता है। योग से हमारे रक्त मे अधिक मात्रा में ऑक्सीजन पहुंचती है, इससे दिल भी स्वस्थ रहता है।
दर्द करे दूर
योग लगभग हर प्रकार के दर्द को दूर करने में मदद करता है। योग की श्वास और स्ट्रेचिंग तकनीक के जरिये आप शरीर में कई प्रकार के विषैले पदार्थों का सही संतुलन बनाने का काम करता है। इसमें रक्त भी शामिल है, जो आमतौर पर शरीर में जरूरी पोषक तत्त्व पहुंचाने और टॉक्सिन को हटाने का काम करता है। एक बार शरीर का सर्कुलर सिस्टम में सुधार आ जाए, तो शरीर दर्द का बेहतर तरीके से सामना कर पाता है|
गर्भावस्था में फायदेमंद योग
गर्भावस्था में योग बहुत फायदेमंद होता है। यह आपको फिट रखने में मदद करता है। योग थकान और तनाव को दूर करने में मदद करता है। इससे मांसपेशियों को भी शक्ति मिलती है। यह पाचन क्रिया को संतुलित करता है। इसके साथ ही यह नर्वस सिस्टम को भी सही रखता है। योग से प्रेग्नेंसी के दौरान आने वाली समस्याएं जैसे अनिद्रा, बैक पेन, पैरों में दर्द की समस्या में भी राहत मिलती है। लेकिन, गर्भावस्था में डॉक्टर से पूछे बिना योग करने के आपको नुकसान भी हो सकते हैं।
मन को रखे शांत
योग में श्वास(सांस) लेने की प्रक्रिया बहुत महत्वपूर्ण होती है। योग श्वास पर नियंत्रण रखने की कला सिखाता है। यह मस्तिष्क के दोनों हिस्सों में संतुलन बनाने का काम करता है।
योग एकाग्रता (फोकस) बढ़ाये
यदि आपका मस्तिष्क शांत है, तो आप चीजों पर बेहतर ढंग से फोकस कर पाएंगे। इससे आपकी याद्दाश्त भी बढ़ेगी। योग और ध्यान से आपका प्रतिक्रियात्मक समय कम होता है। आप चीजों पर बेहतर और लंबे समय तक ध्यान केंद्रित कर पाते हैं। इससे आपकी कार्यक्षमता में भी इजाफा होता है।
यह आर्टिकल महिमा द्वारा लिखा गया है