Savitribai Phule Death Anniversary: आज पूरा भारत सावित्रीबाई फुले जी की पुण्यतिथि मना रहा है। सावित्रीबाई फुले भारत की प्रथम महिला अध्यापिका के रूप में जानी जाती हैं। अपनी कविता के माध्यम से सावित्रीबाई फुले ने देश में महिलाओं के प्रति एक अलग ज्योति जलाई। आज भारत में जब महिलाएं हर क्षेत्र में अपना योगदान प्रदर्शित कर रही हैं, ऐसे में कवियित्री और समाज सुधारक सावित्रीबाई फुले को संपूर्ण राष्ट्र श्रद्धांजलि दे रहा है।
महाराष्ट्र के गांव नयागांव में हुआ जन्म
कवियित्री और समाज सुधारक सावित्रीबाई फुले का जन्म महाराष्ट्र के एक छोटे से गांव में हुआ। उनका जन्म 03 जनवरी 1831 को महाराष्ट्र के सतारा जिले के गांव नयागांव में हुआ था। जन्म दलित परिवार में होने के बावजूद उस समय जब समाज में वर्णव्यवस्था जोरों पर थी, कवियित्री और समाज सुधारक सावित्रीबाई फुले ने अपने संघर्ष से अपना लोहा मनवाया। कवियित्री सावित्रीबाई फुले आदिकवयित्रियों में गिनी जाती हैं। इसके साथ ही इन्हें आधुनिक मराठी काव्य का अग्रदूत भी माना जाता है।
महिला शिक्षा और सशक्तिकरण की रखी नींव
कवियित्री और समाज सुधारक सावित्रीबाई फुले महिलाओं के लिए आगे आईं। उस समय जब महिलाओं को पढ़ने तक की आजादी नहीं थी, उन्होंने महिलाओं को शिक्षा दिलाने के प्रति संघर्ष किया। समाज में जब विधवा विवाह को मान्यता नहीं थी, सावित्रीबाई फुले आगे आईं और समाज में विधवाओं को उच्चकोटी का दर्जा देकर उनका विवाह सुनिश्चित कराया। विधवा विवाह शुरू हुआ। सावित्रीबाई फुले ने महिला सशक्तिकरण की नींव रखीा
सावित्रीबाई फुले ने समाज में महिलाओं की शिक्षा और विधवा विवाह के प्रति ही संघर्ष नहीं किया बल्कि उन्होंने महिलाओं के प्रति फैली समाज में कुरीतियों के खिलाफ भी संघर्ष किया। सावित्रीबाई फुले छुआछूत, सतीप्रथा, बाल विवाह और कन्या भ्रूण हत्या जैसी उस समय चल रहीं कुरीतियों के प्रति आगे आईं। इन कुरीतियों के प्रति उन्होंने संघर्ष कर इन्हें दूर करने का प्रयास किया। यही कारण था कि सावित्रीबाई फुले को एक समाज सुधारक के रूप में भी समाज में सम्मान मिला।
संपूर्ण देश दे रहा श्रद्धांजलि
आज कवियित्री और समाज सुधारक सावित्रीबाई फुले की पुण्यतिथि के अवसर पर भारत में उन्हें याद किया जा रहा है। भारत से जुड़े विभिन्न विभागों और मंत्रियों ने कवियित्री और समाज सुधारक सावित्रीबाई फुले को उनकी पुण्यतिथि के अवसर पर विशेष श्रद्धांजलि अर्पित की है। उत्तर प्रदेश मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, केन्द्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, ऑल इंडिया रेडियो और भारतीय रेल ने श्रद्धांजलि दी है।