कौन है JNU की छात्रा नताशा नरवाल? जानें नताशा के बारे में अन्य बातें

author-image
Swati Bundela
New Update
जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (JNU) के सेंटर फॉर हिस्टोरिकल स्टडीज की PhD की छात्रा हैं। नरवाल 'पिंजरा तोड़' संगठन की संस्थापक सदस्य है, जो दिल्ली के कुछ कॉलेज के वर्त्तमान व पूर्व छात्रों का एक समूह है।
Advertisment

नताशा नरवाल के बारे में अन्य जानकारी


• 22 फरवरी 2020 को जाफराबाद मेट्रो स्टेशन के बाहर नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ हुए एक प्रदर्शन में हिस्सा लेने पर 23 मई 2020 को नरवाल को उनकी एक साथी देवांगना कलीता के साथ गिरफ्तार किया गया था।
Advertisment


• इसके बाद दंगों की कथित साजिश रचने के आरोप में भी नरवाल पर कठोर गैरकानूनी गतिविधियां रोकथाम कानून (UAPA) का भी मामला दर्ज किया गया था। इस वजह से वे अभी तक जेल में बंद हैं। नताशा इस समय दिल्ली के तिहाड़ जेल में बंद है।
Advertisment

• उनके पिता महावीर नरवाल एक वैज्ञानिक और वामपंथी थे, जिनकी 71 साल की उम्र में, एक हफ्ता इलाज के बाद COVID-19 के कारण मौत हो गई।

• इससे पहले नरवाल ने कोर्ट में याचिका दायर करी थी कि उनके पिता
Advertisment
COVID -19 पॉजिटिव हैं और हरियाणा के रोहतक में भर्ती हैं। साथ ही उनका भाई भी COVID -19 पॉजिटिव है। इसलिए उन्हें तत्काल जमानत दी जाए, ताकि वे अपने परिवार की देखभाल कर सके।

• दिल्ली हाईकोर्ट ने आज सोमवार को 'पिंजरा तोड़' कार्यकर्ता, नताशा नरवाल को 3 हफ्ते की अंतरिम जमानत दे दी, ताकि वे अपने पिता के अंतिम संस्कार में शामिल हो सकें।
Advertisment


• कोर्ट को बताया गया कि रोहतक का अस्पताल, जहाँ उनके पिता भर्ती थे, वे नताशा का इंतज़ार कर रहे हैं, कि वे आकर अपने पिता का शव ले जाए।
Advertisment

• लाइव लॉ के मुताबिक पीठ ने आदेश में कहा, "न्याय के हित को ध्यान में रखते हुए, व्यक्तिगत पीड़ा और शोक की घड़ी में याचिकाकर्ता को रिहा किया जाना जरूरी है"।

• न्यायालय ने ये भी कहा है कि रिहा होने के लिए याचिकाकर्ता को 50,000 रुपये का पर्सनल बॉन्ड जेल अधीक्षक को जमा करना होगा। इसके साथ ही दिल्ली दंगा संबंधित मामले में कोई भी टिप्पणी करने से कोर्ट ने नरवाल पर पाबंदी लगाई है।
न्यूज़ नताशा नरवाल