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कोरोना के कारण से कई लोगों की नौकरियां गयी हैं और लोगों के परिवार में पैसों की दिक्कत आयी है। ऐसी ही एक कहानी उड़ीसा की लड़की बिष्णुप्रिया स्वैन की सामने आयी है। यह क्लास 12th में पढ़ने वाली लड़की हैं और हालात से मजबूर होकर काम करने लगी हैं।
पिछले वर्ष जब कोरोना आया था तो इनके पिता की नौकरी चली गयी थी। यह एक ड्राइवर की नौकरी किया करते और लॉकडाउन के कारण इनकी नौकरी चली गयी थी। बिष्णुप्रिया इनके घर की सबसे बड़ी लड़की है और जब इन्होंने अपने परिवार को ऐसे मुश्किलों से जूझते देखा तब यह खुद काम करने का सोचने लगी। इनके पिता ने भी इन्हें सपोर्ट किया और कभी भी काम करने से नहीं रोका। इनका पिता ने ANI को यह तक कहा कि यह अपनी बेटी को लेकर बहुत प्राउड महसूस करते हैं और इनको उन पर गर्व है।
पहले बिष्णुप्रिया ने घर से बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने का सोचा लेकिन फिर ज्यादा कोरोना होने के कारण और लॉकडाउन स्ट्रिक्ट होने के कारण बच्चों ने ट्यूशन आना छोड़ दिया था। यह अपने पिता की काम में हेल्प करना चाहती थीं और साथ ही साथ अपनी पढ़ाई का खर्चा भी खुद से उठाना चाहती थीं।
इन्होंने धीरे धीरे बाइक चलाना भी सीखली और फिर यह जोमैटो में खाना डिलीवर करने का काम करने लगीं। यह बाइक चलाकर यह काम करती हैं। यह उड़ीसा के कुट्टक एरिया से हैं और पहली ऐसी लड़की हैं जो फ़ूड डिलीवरी का काम करती हैं। ऐसे ही इनके तरह न जाने कितने घर हैं जो ऐसे ही पैसों की परेशानी से जूझ रहे हैं। सालों धंधे बंद रहने के कारण से सब परेशान हैं और जैसे तैसे अपने परिवार का खर्चा चला रहे हैं।
कोरोना से आर्थिक परेशानी से गुज़र रहा परिवार
पिछले वर्ष जब कोरोना आया था तो इनके पिता की नौकरी चली गयी थी। यह एक ड्राइवर की नौकरी किया करते और लॉकडाउन के कारण इनकी नौकरी चली गयी थी। बिष्णुप्रिया इनके घर की सबसे बड़ी लड़की है और जब इन्होंने अपने परिवार को ऐसे मुश्किलों से जूझते देखा तब यह खुद काम करने का सोचने लगी। इनके पिता ने भी इन्हें सपोर्ट किया और कभी भी काम करने से नहीं रोका। इनका पिता ने ANI को यह तक कहा कि यह अपनी बेटी को लेकर बहुत प्राउड महसूस करते हैं और इनको उन पर गर्व है।
बिष्णुप्रिया ने काम करना कैसे चालू किया?
पहले बिष्णुप्रिया ने घर से बच्चों को ट्यूशन पढ़ाने का सोचा लेकिन फिर ज्यादा कोरोना होने के कारण और लॉकडाउन स्ट्रिक्ट होने के कारण बच्चों ने ट्यूशन आना छोड़ दिया था। यह अपने पिता की काम में हेल्प करना चाहती थीं और साथ ही साथ अपनी पढ़ाई का खर्चा भी खुद से उठाना चाहती थीं।
Odissa Zomato Food Delivery Girl
इन्होंने धीरे धीरे बाइक चलाना भी सीखली और फिर यह जोमैटो में खाना डिलीवर करने का काम करने लगीं। यह बाइक चलाकर यह काम करती हैं। यह उड़ीसा के कुट्टक एरिया से हैं और पहली ऐसी लड़की हैं जो फ़ूड डिलीवरी का काम करती हैं। ऐसे ही इनके तरह न जाने कितने घर हैं जो ऐसे ही पैसों की परेशानी से जूझ रहे हैं। सालों धंधे बंद रहने के कारण से सब परेशान हैं और जैसे तैसे अपने परिवार का खर्चा चला रहे हैं।