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Image Credit: New York Times
सुचिर बलाजी, जिनका LinkedIn प्रोफाइल बताता है कि वे 2020 से 2024 तक OpenAI में तकनीकी कर्मचारी के रूप में काम कर रहे थे, ने हाल ही में जनरेटिव AI कंपनियों द्वारा कॉपीराइट उल्लंघन के आरोप लगाए थे। उनके अनुसार, ये कंपनियाँ ‘फेयर यूज’ सिद्धांत का गलत उपयोग कर रही थीं, खासकर ChatGPT जैसे AI उत्पादों को लेकर। उनके विचार थे कि इन तकनीकों के द्वारा उत्पन्न किए गए डेटा का प्रतिस्थापन किया जा सकता है, जो कि कॉपीराइट कानून के खिलाफ है।
— OpenAI Newsroom (@OpenAINewsroom) January 16, 2025
सुचिर बलाजी की मौत की जांच में नई जानकारियां
सुचिर बलाजी की मृत्यु पर पुलिस की प्रारंभिक रिपोर्ट के अनुसार, यह आत्महत्या थी। लेकिन उनकी मां, पूर्णिमा रामाराव ने इस निष्कर्ष को नकारते हुए कहा कि यह हत्या हो सकती है। उन्होंने आरोप लगाया कि अपार्टमेंट में संघर्ष के निशान थे, विशेष रूप से बाथरूम में खून के धब्बे थे, जो यह संकेत देते हैं कि सुचिर ने आत्महत्या नहीं की थी।
पूर्णिमा ने आरोप लगाया, “यह एक ठंडे खून से की गई हत्या है, जिसे आत्महत्या के रूप में दिखाया गया है। हम न्याय की मांग करते हैं।”
Update on @suchirbalaji
— Poornima Rao (@RaoPoornima) December 29, 2024
We hired private investigator and did second autopsy to throw light on cause of death. Private autopsy doesn’t confirm cause of death stated by police.
Suchir’s apartment was ransacked , sign of struggle in the bathroom and looks like some one hit him…
OpenAI और परिवार का बयान
OpenAI ने इस दुखद घटना पर अपनी संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि वे सुचिर के योगदान को याद करेंगे। कंपनी ने यह भी कहा कि वे सैन फ्रांसिस्को पुलिस विभाग के संपर्क में हैं और जांच में सहयोग देने के लिए तैयार हैं।
सुचिर के पिता, बालाजी राममूर्ति ने कहा कि वे आखिरी बार नवंबर 22 को सुचिर से बात कर रहे थे, और वह उस समय अच्छे मूड में थे, अपने जन्मदिन की खुशियाँ मना रहे थे।
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सुचिर बालाजी का करियर और विवाद
सुचिर बालाजी, जो भारतीय-अमेरिकी मूल के थे, नवंबर 2020 से अगस्त 2024 तक OpenAI में तकनीकी स्टाफ के सदस्य के रूप में कार्यरत रहे। उनके लिंक्डइन प्रोफाइल के अनुसार, बालाजी ने OpenAI छोड़ने के बाद जनरेटिव एआई उत्पादों के उपयोग पर गंभीर सवाल उठाए थे।
बालाजी ने न्यूयॉर्क टाइम्स को दिए गए एक साक्षात्कार में आरोप लगाया कि OpenAI और अन्य जनरेटिव एआई कंपनियां कॉपीराइट कानून का उल्लंघन कर रही हैं। उन्होंने कहा, "अगर आप वही मानते हैं जो मैं मानता हूं, तो आपको इस कंपनी को छोड़ देना चाहिए।"
AI और फेयर यूज़ पर सुचिर का दृष्टिकोण
बालाजी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'X' पर कई पोस्ट के जरिए अपनी राय व्यक्त की। उन्होंने लिखा:
"फेयर यूज़, कई जनरेटिव एआई उत्पादों के लिए एक मजबूत रक्षा नहीं है, क्योंकि ये ऐसे प्रतिस्थापन बना सकते हैं जो उनके प्रशिक्षण डेटा के साथ प्रतिस्पर्धा करते हैं।"
I recently participated in a NYT story about fair use and generative AI, and why I'm skeptical "fair use" would be a plausible defense for a lot of generative AI products. I also wrote a blog post (https://t.co/xhiVyCk2Vk) about the nitty-gritty details of fair use and why I…
— Suchir Balaji (@suchirbalaji) October 23, 2024
सचिर बालाजी ने अपने ब्लॉग में फेयर यूज़ के नियमों पर प्रकाश डाला। उनके अनुसार, जेनरेटिव एआई के लिए फेयर यूज़ का दावा चार प्रमुख कारकों पर निर्भर करता है:
- उपयोग का उद्देश्य और उसका व्यावसायिक या शैक्षिक प्रकृति।
- कॉपीराइट किए गए कार्य का स्वभाव।
- उपयोग किए गए हिस्से की मात्रा और उसका महत्व।
- इस उपयोग का कॉपीराइट किए गए कार्य के बाजार पर प्रभाव।
पुलिस की जांच और सोशल मीडिया पर प्रतिक्रिया
सैन फ्रांसिस्को पुलिस विभाग के प्रवक्ता रॉबर्ट रूका ने कहा कि प्रारंभिक जांच में किसी षड्यंत्र की संभावना नहीं दिखी है। बालाजी के सहयोगियों और अनुयायियों ने उनकी मौत पर गहरा शोक व्यक्त किया है।
क्या बालाजी की मौत से जुड़े सवाल अभी बाकी हैं?
सुचिर बालाजी की असामयिक मौत ने एआई उद्योग में नैतिकता और कॉपीराइट के मुद्दों को फिर से चर्चा में ला दिया है। क्या उनका सच बोलना उनकी मौत की वजह बना, या यह सिर्फ एक संयोग है? यह सवाल अब भी अनुत्तरित है।