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Image: (Freepik)
Why Do Women Need More Calcium And How To Fulfill It: कैल्शियम एक बेहद जरूरी पोषक तत्व है जो हड्डियों को मजबूत और स्वस्थ बनाए रखने में मदद करता है। पुरुषों की तुलना में महिलाओं को कैल्शियम की ज़रूरत ज्यादा होती है क्योंकि महिलाएं अपने जीवनकाल में कई तरह के शारीरिक बदलावों से गुजरती हैं। इसलिए अगर शरीर में कैल्शियम की कमी हो जाए, तो हड्डियाँ कमजोर होने लगती हैं, ऑस्टियोपोरोसिस जैसी समस्याएँ हो सकती हैं जिनके होने की संभावना भी सबसे ज्यादा महिलाओं में होती है। इसलिए महिलाओं को अपने आहार में कैल्शियम को सही मात्रा में शामिल करना चाहिए ताकि वे जीवनभर स्वस्थ और सक्रिय रह सकें। जानिए क्यों महिलाओं को ज़्यादा कैल्शियम की ज़रूरत होती है? और इसे आप पूरा कैसे कर सकती हैं।
महिलाओं में कैल्शियम की कमी क्यों?
हार्मोनल बदलाव
महिलाओं के शरीर में जीवनभर कई तरह के हार्मोनल बदलाव होते हैं और इनकी शुरुआत महावारी से होती है और 50 से 55 की उम्र तक लगातार महिलाओं का शरीर इन बदलावों से गुजरता रहता है। महावारी के समय में एस्ट्रोजन हार्मोन की महत्वपूर्ण भूमिका होती है जो हड्डियों को कैल्शियम देने में मदद करता है। कई महिलाओं को मासिक धर्म के दौरान कमजोरी और थकान महसूस होती है जिसका एक कारण शरीर में पोषक तत्वों की कमी भी हो सकता है। इसलिए इस समय में कैल्शियम और अन्य पोषक तत्वों से भरपूर आहार लेना बेहद ज़रूरी होता है।
गर्भावस्था के दौरान कैल्शियम की जरूरत
गर्भावस्था के दौरान महिलाओं का शरीर न केवल अपनी बल्कि गर्भ में पलने वाले शिशु की कैल्शियम की जरूरतों को भी पूरा करता है। बच्चे की हड्डियों, दाँतों और मांसपेशियों के निर्माण के लिए कैल्शियम बेहद ज़रूरी है जो महिलाओं इसलिए अगर इस दौरान महिला के आहार में पर्याप्त कैल्शियम नहीं होता तो बच्चे के विकास के लिए आवश्यक कैल्शियम माँ की हड्डियों से लिया जाता है, जिससे माँ की हड्डियाँ कमजोर होने की संभावना हैं। इसलिए गर्भवती महिलाओं को अपने आहार में कैल्शियम युक्त खाद्य पदार्थों को शामिल करना चाहिए।
स्तनपान के दौरान
स्तनपान करवाने वाली महिलाओं के शरीर में कैल्शियम की कमी होने की संभावना बढ़ जाती है। इस दौरान अगर शरीर में कैल्शियम प्रयाप्त मात्रा में न हो और आहार में भी कैल्शियम नहीं लिया जाए तो शरीर मां की हड्डियों से कैल्शियम लेना शुरू कर देता है, जिससे उनकी हड्डियाँ कमजोर हो सकती हैं। यह स्थिति आगे चलकर ऑस्टियोपोरोसिस का कारण बन सकती है। इसलिए स्तनपान करवाने वाली महिलाओं को अपने आहार में अधिक कैल्शियम युक्त चीज़ें शामिल करनी चाहिए।
मेनोपॉज के दौरान
रजोनिवृत्ति (मेनोपॉज़) के बाद महिलाओं में एस्ट्रोजन हार्मोन का स्तर तेजी से घटता है, जिससे हड्डियाँ कमजोर होने लगती हैं और उनमें से कैल्शियम का स्तर भी कम हो जाता है और ऑस्टियोपोरोसिस (हड्डियों की बीमारी) का खतरा भी बढ़ जाता है। इस उम्र में हड्डियों को मजबूत बनाए रखने के लिए कैल्शियम के साथ-साथ विटामिन डी का सेवन भी महिलाओं के लिए बेहद ज़रूरी होता है।
महिलाएं कैल्शियम की पूर्ति कैसे करें?
डेयरी उत्पादों का सेवन
एक अच्छी डाइट महिलाओं के लिए बेहद जरूरी है। दूध और दूध से बने पदार्थ या उत्पाद जैसे दही, पनीर और मक्खन कैल्शियम के अच्छे स्रोत हैं। नियमित रूप से दूध और दही का सेवन करने से हड्डियां मजबूत होती हैं और शरीर को आवश्यक कैल्शियम प्राप्त होता है। लेकिन जो महिलाएँ लैक्टोज इनटॉलरेंस के कारण दूध नहीं पी सकतीं उन्हें दही या चीज़ का सेवन करना चाहिए क्योंकि ये पचने में आसान होते हैं और भरपूर मात्रा में कैल्शियम भी होता है।
सोया और बीन्स खाएं
सोयाबीन प्रोटीन से भरपूर होती है और इसमें कैल्शियम की मात्रा भी अच्छी होती है। सोया मिल्क, टोफू और सोया नट्स महिलाओं के लिए कैल्शियम की पूर्ति के लिए काफी अच्छे विकल्प हैं। इसके अलावा आप अपने खाने में राजमा, चना, मसूर और अन्य दालों को भी शामिल कर सकती हैं।
हरी पत्तेदार सब्ज़ियाँ खाएँ
हरी पत्तेदार सब्ज़ियों जैसे पलक, मेथी, बथुआ, सरसों आदि में आयरन के साथ-साथ कैल्शियम भी भरपूर मात्रा में होता है। इन्हें नियमित रूप से खाने से हड्डियों की मजबूती बनी रहती है।
विटामिन डी का सेवन करें
शरीर में कैल्शियम को सही तरीके से एब्जॉर्ब करने के लिए विटामिन डी की भी ज़रूरत होती है। सूरज की रोशनी विटामिन डी का सबसे अच्छा और प्राकृतिक स्रोत है। इसके अलावा आप अंडा, मशरूम का सेवन विटामिन डी की कमी को पूरा करने के लिए कर सकती हैं। साथ ही दूध के नियमित सेवन पर भी ध्यान देना जरूरी है। अगर आप कामकाजी या व्यस्त रहती हैं और धूप में ज्यादा समय नहीं बैठ सकतीं तो डॉक्टर से विमर्श के बाद विटामिन डी के सप्लीमेंट भी आप ले सकती हैं।
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