पूर्णिमा कट्याल, Third Roast की संस्थापक, ने SheThePeople Digital Women Award जीता है। उन्होंने न केवल अपने ब्रांड को प्लांट-बेस्ड डेसर्ट्स के लिए पहचाना, बल्कि स्वादिष्ट और इनोवेटिव मिठाइयों की दुनिया में एक अलग पहचान बनाई। उनकी कहानी महिलाओं के लिए प्रेरणा का स्रोत है, खासकर उन लोगों के लिए जो बिना समझौते के स्वाद और सेहत का तालमेल चाहती हैं।
क्या आपकी कॉफी स्वादिष्ट और सेहतमंद हो सकती है? पूर्णिमा कटियाल ने बताया कैसे
कॉफी: हर सुबह का साथी
दुनिया भर के ज्यादातर घरों में सुबह की शुरुआत एक कप खुशबूदार कॉफी के बिना अधूरी लगती है। पूर्णिमा ने इस लोकप्रिय पेय की ताकत को समझते हुए इसे एक नई दिशा दी है। उन्होंने न सिर्फ इस बढ़ते बाजार को समझा बल्कि अपने ब्रांड की एक अलग पहचान भी बनाई। उनके ब्रांड ने उन लोगों के दिलों में जगह बनाई है जो स्वादिष्ट डेज़र्ट्स का आनंद लेना चाहते हैं, बिना किसी संकोच के।
स्वाद और सेहत का बेहतरीन मेल
पूर्णिमा का फोकस स्वादिष्ट और सेहतमंद डेज़र्ट्स बनाने पर है। उनका मानना है कि “कम अपराधबोध, कम संदेह—ज्यादा आत्म-प्रेम” के साथ, रोज़मर्रा की मिठास को आत्म-सहानुभूति का रूप दिया जा सकता है।
खाद्य और पेय उद्योग में महिलाओं की भूमिका
डिजिटल वुमेन अवॉर्ड्स के 10वें संस्करण में, पूर्णिमा ने खाद्य और पेय (एफ एंड बी) क्षेत्र में अपने अनुभव साझा किए। उन्होंने कहा,
"अक्सर महिलाएं घर की रसोई तक सीमित रहती हैं, लेकिन जब बात कमर्शियल किचन की होती है, तो वहां ज्यादातर पुरुष दिखाई देते हैं। हालांकि, अब यह बदलाव हो रहा है। महिलाएं इस क्षेत्र में आ रही हैं और ज्यादा सहानुभूति भी ला रही हैं। एफ एंड बी बिजनेस बनाना, वेंडर्स और अन्य लोगों के साथ काम करना, यह सब काफी मेहनत का काम है, लेकिन नामुमकिन नहीं।"
कॉफी संस्कृति का भविष्य
आज की कॉफी केवल एक पेय नहीं है, बल्कि यह संस्कृति, बातचीत और अनुभवों का हिस्सा बन गई है। पूर्णिमा कहती हैं,
"कॉफी संस्कृति बहुत विकसित हो चुकी है। घर पर इसे पीने से लेकर कैफे में दोस्तों से मिलने, और अब भारतीय मूल की विशेष कॉफी का आनंद लेने तक। भविष्य में, टेक्नोलॉजी के साथ इसे और बेहतर बनाया जाएगा, जबकि इंसानी जुड़ाव भी बना रहेगा।"
पूर्णिमा कटियाल से बातचीत
आपके ब्रांड थर्ड रोस्ट के पीछे की कहानी क्या है?
मैंने थर्ड रोस्ट की शुरुआत प्लांट-बेस्ड डेज़र्ट्स बनाने के उद्देश्य से की। मेरा लक्ष्य है कि लोग बिना किसी समझौते के स्वाद का आनंद ले सकें। साथ ही, मैं एक फूड कंसल्टेंट और हेल्थ कोच भी हूं।
आपने डिजिटल प्लेटफॉर्म्स का कैसे इस्तेमाल किया?
डिजिटल मार्केटिंग ने मेरे बिजनेस को व्यापक रूप से फैलाने में मदद की। इंस्टाग्राम और फेसबुक ने एक कम्युनिटी बनाने का मौका दिया, जहां मैं अपने प्रोडक्ट्स के साथ उनकी कहानियां साझा कर सकी। गूगल एनालिटिक्स और इंस्टाग्राम इनसाइट्स ने कस्टमर्स को समझने में मदद की।
भविष्य में थर्ड रोस्ट का क्या लक्ष्य है?
भारत में प्लांट-बेस्ड फूड का मार्केट तेजी से बढ़ रहा है। मेरा लक्ष्य अगले दो सालों में बिक्री को दोगुना करना और पूरे भारत में 20,000 ऑर्डर्स तक पहुंचना है।
इस सफर में आपको किन चुनौतियों का सामना करना पड़ा?
सबसे बड़ी चुनौती थी अपने विज़न के साथ बने रहना और बाजार की जरूरतों के बीच संतुलन बनाना। शुरुआत में अकेले सब संभालना मुश्किल था। लेकिन मैंने सीखा कि हर मुश्किल से कुछ न कुछ सीखने को मिलता है।
पूर्णिमा कटियाल ने थर्ड रोस्ट के जरिए यह दिखा दिया कि स्वाद और सेहत को एक साथ जोड़ा जा सकता है। उनकी कहानी उन लोगों के लिए प्रेरणा है जो अपने जुनून को एक सार्थक बिजनेस में बदलना चाहते हैं।