Advertisment

Old Is Gold: इन अदाकाराओं को आज भी याद करती है बॉलिवुड इंडस्ट्री

बॉलीवुड : हिंदी सिनेमा में एक अलग पहचान स्थापित करने वाली अदाकाराएं थीं माला सिंहा, मधुबाला, मीना कुमारी और नरगिस। चालीस से साठ और आगे भी अपनी छाप छोड़ने वाली ये एक्ट्रेसिस आज भी याद की जाती हैं।

author-image
Prabha Joshi
New Update
हिंदी सिनेमा

अपनी ख़ूबसूरती के लिए पहचानी जाती थीं सिने अदाकारा मधुबाला

Old Is Gold: भारतीय सिनेमा में हिंदी सिनेमा या बॉलिवुड देश-विदेश में अपनी हमेशा से ही अपनी अलग ही पहचान छोड़ता आया है। हिंदी सिनेमा में पुरुष ही नहीं महिलाओं ने अपनी दमदार अदाओं से सिने प्रेमियों का दिल जीता है। चालीस से साठ दशक की बहुत-सी ऐसी अदाकारा रही हैं जिनके साथ काम करने को जाने-माने एक्टर्स तक तत्पर रहते हैं। इन अभिनेत्रियों ने अपनी एक्टिंग के बल पर भारतीय सिनेमा को एक अलग ही पहचान दी। वैसे तो बहुत अभिनेत्रियां है हिंदी सिनेमा में लेकिन आइए जानें उन अभिनेत्रियों को जिन्होंने अपनी अदाओं के ज़रिए भारतीय हिंदी सिनेमा में अपनी विशिष्ट पहचान दी :- 

Advertisment

मधुबाला की ख़ूबसूरती थी बड़ी पहचान

हिंदी सिनेमा या बॉलीवुड का नाम आते ही मधुबाला का नाम हर किसी के मुंह पर आता है। ये हिंदी सिनेमा में सबसे ख़ूबसूरत अदाकारा के रूप में जानी जाती थीं। कहते हैं इनके बहुत बड़े दीवाने थे एक्टर दिलीप कुमार। 1960 में गायक किशोर कुमार से मधुबाला का विवाह हो गया। इनकी अदाएं सिने प्रेमियों का दिल जीत लेती थीं। मधुबाला की प्रसिद्धा फ़िल्मों में मुग़ल-ए-आज़म, महल, चलती का नाम गाड़ी, मिस्टर एंड मिसिस' 55, हावड़ा ब्रिज, काला पानी आदि हैं। इन्होंने तब के जाने-माने हर एक्टर से काम किया है।

Advertisment

मॉर्डन स्टाइल में झलकी थीं नरगिस 

नरगिस ने हिंदी सिनेमा में एक मार्डन अभिनेत्री की झलक छोड़ी थी। नरगिस ने हिंदी सिनेमा को एक ऐसी ऐक्ट्रेस दीं जो बिल्कुल नए हेयर स्टाइल, ड्रेसिंग सेंस और पर्सनेलिटी से लैस थीं। इनकी बहुत-सी फ़िल्में शोमैन राज कपूर के साथ की हैं। राज कपूर और नरगिस की जोड़ी हिंदी सिनेमा में एक छाप छोड़ गई थी। नरगिस की प्रसिद्ध फ़िल्मों में आग, बरसात, श्री 420, मदर इंडिया, दीदार, चोरी-चोरी आदि हैं। इनका विवाह एक्टर सुनील दत्त से हुआ। 

ट्रैजिडी फ़िल्में मीना कुमारी से होती थीं हिट

Advertisment

मीना कुमारी पचास-साठ दशक की ऐसी अभिनेत्री थीं जिनकी अदाओं के चलते उन्हें ट्रैजिडी क्वीन का दर्जा दिया गया। उनका रोल ज़्यादार ट्रैजिडी से जुड़ा होता था। कहते हैं इनकी असल ज़िंदगी में भी ट्रैजिडी ज़्यादा थीं। इनका विवाह 1952 में डॉयरेक्टर कमाल अमरोही से हुआ। 40 साल से भी कम उम्र में मीना कुमारी ने एक बड़ा हिस्सा हिंदी सिनेमा को देकर इस दुनिया को अलविदा कह दिया। फ़िल्मों में इनकी जोड़ी एक्टर अशोक कुमार के साथ सराही जाती थी। मीना कुमारी की प्रसिद्ध फ़िल्में हैं पाकीज़ा, बैजू बावरा, साहब बीवी और ग़ुलाम, यहूदी, चित्रलेखा आदि। 

अलग ही अदाएं थीं माला सिंहा की

माला सिंहा ने अपनी अलग ही अदाओं से सिने प्रेमियों का दिल जीता था। उस दौर में ये मीना कुमारी, नरगिस, मधुबाला जैसी दिग्गज अभिनेत्रियों के वाबजूद अपनी पहचान क़ायम रखे हुए थीं। इनका विवाह चिंतंबर प्रसाद लोहानी से 1968 में हुआ। इन्होंने अपनी अदाओं के बल पर हिंदी ही नहीं बंगाली और नेपाली फ़िल्मों में भी काम किया। माला सिन्हा की प्रसिद्ध फ़िल्में हैं आंखें, हरियाली और रास्ता, धूल का फूल, गुमराह आदि।

आज भी हिंदी सिनेमा की जब बात आती है तो इन अभिनेत्रियों को हर कोई याद करता है। भले ही फ़िल्मों से दूर आज की पीढ़ी हो, पर इन अभिनेत्रियों पर फ़िल्माए गानें आज भी बच्चों से लेकर बुज़ुर्गों तक हर कोई कभी-न-कभी गुनगुनाता ज़रूर है।

बॉलीवुड हिंदी सिनेमा Old Is Gold
Advertisment