Advertisment

Gender Neutral Uniform: कोच्चि स्कूल ने छात्रों के लिए जेंडर-न्यूट्रल वर्दी अपनाई, क्या यह सभी स्कूलों में लागू होना चाहिए 

author-image
Swati Bundela
New Update


Advertisment

Gender Neutral Uniform:  एर्नाकुलम जिले के वलयनचिरंगारा में एक सरकारी लोअर प्राइमरी स्कूल ने अपने सभी छात्रों को एक समान वर्दी की शुरुआत करके जेंडर न्यूट्रॅलिटी का रास्ता दिखाया है। एक जेंडर-न्यूट्रल वर्दी छात्रों को वर्दी लिंग के आधार पर भेदभाव को रोकने के लिए जरुरी है। जानिए क्या सभी स्कूलों को  जेंडर-न्यूट्रल वर्दी अपनानी चाहिए? 

कोच्चि स्कूल जेंडर-न्यूट्रल वर्दी

कोच्चि स्कूल के लिए जेंडर-न्यूट्रल वर्दी वर्ष 2018 में स्कूल की हेडमिस्ट्रेस द्वारा पेश की गई थी, जिसमें छात्रों को शर्ट और तीन चौथाई पतलून पहनने का सुझाव दिया गया था। इस डिसीजन ने सोशल मीडिया पर लोगों के निर्णय शुरू कर दिए थे। 

Advertisment

"यह अच्छी दृष्टि वाला स्कूल है। जेंडर इक्वालिटी मुख्य विषय था जब हम स्कूल में लागू करने के लिए कई कारकों के बारे में बात कर रहे थे। इसलिए दिमाग में आया वर्दी। जब मैं सोच रही थी कि इसका क्या करूं, तो मैंने देखा कि स्कर्ट को लेकर लड़कियों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। बदलाव के विचार पर सभी से चर्चा हुई। 90% माता-पिता ने उस समय इस फैसले का समर्थन किया था। बच्चे भी बहुत खुश थे। मैं बहुत खुश और प्राउड महसूस कर रही हूं कि इस पर चर्चा हो रही है", यह यूनिफॉर्म 2018 में पेश करने वाली पूर्व हेडमिस्ट्रेस सी राजी ने कहा। 

इसके साथ ही, एनपी अजयकुमार पूर्व स्कूल मैनेजमेंट कमिटी के अध्यक्ष, का कहना है कि, "छात्रों और माता पिता के मन में जेंडर इक्वालिटी होनी चाहिए। लड़कियों को स्कर्ट पहनने में कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। शौचालय जाते समय और खेलते समय समस्या होती है। यह पोशाक एक जेंडर-न्यूट्रल वर्दी के कॉन्सेप्ट से ली गई है। यह 105 साल पुराना स्कूल है इसलिए किसी का कोई खास विरोध नहीं हुआ। शैक्षणिक समिति के निर्णय को सभी ने स्वीकार किया। इसे हमारी अपेक्षा से अधिक पहचान मिली।" 

क्या जेंडर-न्यूट्रल वर्दी सभी स्कूलों में लागू होनी चाहिए? 

Advertisment

एक जेंडर-न्यूट्रल वर्दी छात्रों को वर्दी की एक अलग 'न्यूट्रल' शैली पहनने के लिए मजबूर करने के बारे में नहीं है। यह उन वस्तुओं के साथ अधिक विकल्प प्रदान करने के बारे में है जो लिंग के अनुसार भूमिकाओं को अलग करने से बचना चाहते हैं। जेंडर-न्यूट्रल का उद्देश्य ऐसे शब्द विकल्पों से बचना है जिनकी व्याख्या बायस्ड, भेदभावपूर्ण या नीच के रूप में की जा सकती है, जो की एक लिंग या सोशल जेंडर की वजह से होता है।

लिंग के आधार पर भेदभाव को रोकने के लिए लचीला, समावेशी वर्दी विकल्प प्रदान करना एक महत्वपूर्ण कदम है। छात्रों को उनके लिंग की परवाह किए बिना स्कूल की वर्दी के किसी भी हिस्से को पहनने का विकल्प प्रदान करना चाहिए। कई बार एक शात्र की सेक्सुअलिटी की वजह से उससे कई दिक्कतें होती हैं वर्दी को लेकर और कई बार शर्म के कारण भी बच्चे इस बात का बोलते नहीं हैं क्योंकि स्कूल में मजाक उड़ाया जाएगा। इसलिए एक जेंडर-न्यूट्रल वर्दी सभी परेशानियों का समाधान होगी। इसलिए ज्यादातर स्कूलों को जेंडर-न्यूट्रल वर्दी रखनी चाहिए। 


न्यूज़
Advertisment