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Things That Don't Make Women Characterless: 5 चीज़ें जो करने से महिलाएं करेक्टरलेस नहीं होती हैं

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Swati Bundela
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Things That Don't Make Women Characterless: चरित्रहीन होना मतलब गुण, स्वाभाव, व्यवहार नैतिकता या समाज की दृष्टि में खराब या घटिया होना कहते है पर आज लड़कियों को लेकर करैक्टर की डेफिनिशन ही अलग हो गयी है। आईए जानते है ऐसी ही लड़कियों से जुड़ी गलत धारणाओं के बारे जो गलत है पर लोगों के मन से जाने का नाम नाम नहीं ले रही है।

Things That Don't Make Women Characterless - 



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1. लड़को से दोस्ती करना

अक्सर लड़कियों से लड़को से दूर रहना सिखाया जाता है कि कही उच्च नीच न हो जाए मतलब प्यार। अगर लड़की का लड़के से बात करना गुनाह लगता है। "इन दोनों में कुछ चल रहा है" ऐसे शब्द आते है। दूसरे की ज़िन्दगी में दखल देने का आपको हक़ नहीं है। दोस्ती करने से कोई करैक्टर का कोई संबंध नहीं है यह सिर्फ हमारी बुरी सोच है जो हर लड़की को गलत नजर से देखती है।

2. रिलेशनशिप में होना

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जहाँ शादी के बाद प्यार होने को सही कहा जाता था पर आज सिचुएशन बदल रही है टीनएज सेक्स एजुकेशन व प्यार आदि को एक्स्प्लोर कर रहे है। रिलेशनशिप नार्मल बातें लगने लगी है पर फिर भी एक लड़की का रिलेशनशिप में होने को उसके करैक्टर से जोड़ा न रहा पर यह सिर्फ लड़की के साथ ही क्यों?

3. गुस्सा दिखाना

एक लड़की को संस्कारी तब कहा जाता है जब वह चुप रहे, गुस्सा तो बिलकुल भी ना करें क्यों? गुस्सा अपने इमोशंस को प्रेजेंट करने का एक माध्यम है। इसको लेके विवाद करना, किसी को जज करना बेवकूफी है। सबसे हास्यास्पद बात यह कि सिर्फ लड़कियों का गुस्सा करना उन्हें बुरा बनाता है और कोई और करें तो पावरफुल कहलाता है।

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4. सहन ना करना

शादी, पति, ससुराल अगर टॉक्सिक हो, मारता हो तो उन्हें सुधरने की बजाय औरत को सहनशील होना सिखाया जाता है क्योंकि अगर एक सुधरना नहीं चाहता तो जिम्मेदारी दूसरे पर थोप दो। हमेशा लड़की ही क्यों एडजस्ट करे? अपना स्टैंड लेना, अपनी ज़रूरतों के लिए खड़ा होना सेल्फिश नहीं सेल्फ रेस्पेक्ट को दर्शाता है।

5. ओपनियन रखना

लड़कियों के लिए ओपनियन रखना काफी मुश्किल है उन्हें या तो चुप करा दिया जाता है या पहले ही समझा दिया जाता है कि कुछ मत बोलना। क्यों? पुराने ज़माने से औरत को चुप रहना सिखाया जाता और उनके ज़िन्दगी के फैसले तक कोई और लेते है जो गलत होने के साथ उनके साथ नाइंसाफ़ी है।



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