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Photograph: ((X/@gharkekalesh) Via Hindustan Times)
Man Threatened Women To Speaking Hindi Over Marathi: आजकल देश में ऐसे कई मामले सामने आ रहे हैं, जहां क्षेत्रीय भाषाओं का प्रयोग न करने पर लोगों को प्रताड़ित किया जाता है। भारत अनेकता में एकता वाला देश है, जहां हर राज्य में अलग-अलग भाषाएँ बोली जाती हैं। ऐसे में भाषा के नाम पर किसी को धमकी देना या भेदभाव करना किसी भी दृष्टिकोण से सही नहीं है। सोशल मीडिया पर ऐसी ही एक वीडियो वायरल हो रही है, जिसमें एक महिला को हिंदी की बजाय मराठी बोलने की धमकी दी गई। इस पर महिला ने भी जोरदार जवाब दिया। चलिए पूरी खबर जानते हैं-
हिन्दी की बजाय मराठी बोलने की दी धमकी, महिला ने कहा, "मेरी जबान, मेरी मर्जी'
महाराष्ट्र से एक मामला सामने आया है, जहां एक महिला को मराठी बोलने के लिए धमकी दी गई और कहा गया कि उसे हिंदी के बजाय मराठी बोलनी चाहिए। इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म "X" पर तेजी से वायरल हो रहा है। वीडियो में महिला पूछती है, "क्या बोलूं?" इस पर एक व्यक्ति की तरफ से मराठी में बात करने का दबाव डाला जा रहा है।
महिला ने स्पष्ट शब्दों में कहा, "मुझे मराठी नहीं आती। वह एक भाषा है।" वीडियो में साफ दिख रहा है कि महिला पर मराठी बोलने का दबाव बनाया जा रहा है। यहां तक कहा गया कि अगर उसे मराठी नहीं आती तो वह महाराष्ट्र में कैसे रह रही है। इस पर महिला ने बार-बार जवाब दिया, "मेरी मर्जी से रहती हूं। मेरा खुद का घर है।"
इसके बाद उस व्यक्ति ने महिला से उसके गाँव के बारे में पूछा। महिला ने जवाब दिया, "मेरा गाँव कहीं का भी रहेगा।" फिर व्यक्ति ने जोर देकर कहा, "आपको मराठी में बात करनी होगी।" इसके जवाब में महिला ने स्पष्ट शब्दों में कहा, "नहीं करूंगी। क्या करोगे? मैं किसी भी भाषा में बात करूं, मेरी ज़बान, मेरी मर्ज़ी।"
X पर जिस अकाउंट पर वीडियो अपलोड की गई है, उसकी कैप्शन में लिखा था, "महाराष्ट्र में मराठी न बोलने को लेकर एक मराठी लड़के और एक हिंदी भाषी महिला के बीच कहासुनी।"
जानिए Netizens ने कैसे किया रिएक्ट
If we continue down this path of linguistic intolerance, we risk creating invisible borders within our own country. And honestly, do we really need more division in a country that already struggles with religious, caste, and political divides?
— mindhunterrrr (@_mindhunterr) May 12, 2025
words should unite, not divide.
Brave girl.
— Common Man (@armchairprober) May 12, 2025
Ye logo ka phir se shuru hogaya 🤦🏻♂️
— Nick (@ni_ck_s7) May 12, 2025
Desh me language wala war alag chal rha hain...
— BS Kataria (@bskataria001) May 12, 2025
A high level of joblessness makes people cling onto artificial things like language (and other kinds of pride) pride and harass random people on streets.
— Shaili (@shailivation) May 12, 2025
You don't see working professionals waste their time on this.