Rishi Sunak Debate On Gender Sparks Stir : ब्रिटिश पीएम ऋषि सुनक ने थर्ड जेंडर के लोगों को मान्यता देने के लिए अपनी सरकार की प्रतिबद्धता दोहराई है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों को सुरक्षित करने और उन्हें समान अवसर प्रदान करने के लिए काम कर रही है।
ब्रिटिश पीएम ऋषि सुनक का थर्ड जेंडर पर बयान
सुनक ने कहा कि थर्ड जेंडर के लोगों को अक्सर भेदभाव और अस्वीकृति का सामना करना पड़ता है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार इस स्थिति को बदलने के लिए प्रतिबद्ध है। सुनक ने कहा कि उनकी सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल और रोजगार के क्षेत्र में समान अवसर सुनिश्चित करने के लिए काम कर रही है। उन्होंने कहा कि उनकी सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के लिए एक सुरक्षित और समावेशी समाज बनाने के लिए भी काम कर रही है।
Rishi Sunak On Transgenderism 🇬🇧
— Sameera Khan (@SameeraKhan) October 5, 2023
“We shouldn’t be bullied into believing that people can be any sex they want to be. They can’t.”
“A man is a man, a woman is a woman. That’s just common sense.”
pic.twitter.com/DuhZLoeRDM
सुनक के बयान का स्वागत थर्ड जेंडर के अधिकारों के लिए काम करने वाले लोगों ने किया है। उन्होंने कहा कि सुनक के बयान से थर्ड जेंडर के लोगों को अपनी पहचान को खुलकर स्वीकार करने और जीने में मदद मिलेगी। थर्ड जेंडर के लोगों को मान्यता देने के लिए काम करने वाले एक संगठन के कार्यकारी निदेशक ने कहा कि सुनक के बयान से थर्ड जेंडर के लोगों को एक बड़ा विश्वास बढ़ा है। उन्होंने कहा कि सुनक ने यह स्पष्ट कर दिया है कि उनकी सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों के लिए प्रतिबद्ध है।
थर्ड जेंडर के लोगों के लिए काम करने वाले एक अन्य संगठन के कार्यकर्ता ने कहा कि सुनक का बयान एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने कहा कि सुनक ने यह स्पष्ट कर दिया है कि उनकी सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों को सुरक्षित करने और उन्हें समान अवसर प्रदान करने के लिए काम कर रही है। सुनक के बयान का स्वागत थर्ड जेंडर के लोगों के अलावा अन्य लोगों ने भी किया है। कुछ लोगों ने कहा कि सुनक का बयान एक प्रगतिशील कदम है। उन्होंने कहा कि यह दिखाता है कि ब्रिटिश सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों के प्रति प्रतिबद्ध है।
कुछ अन्य लोगों ने कहा कि सुनक का बयान एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने कहा कि यह दिखाता है कि ब्रिटिश सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों को सुरक्षित करने और उन्हें समान अवसर प्रदान करने के लिए काम कर रही है। सुनक के बयान का स्वागत थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों के लिए काम करने वाले लोगों और अन्य लोगों ने किया है। यह एक प्रगतिशील कदम है और यह दिखाता है कि ब्रिटिश सरकार थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों के प्रति प्रतिबद्ध है।
थर्ड जेंडर के बारे में कुछ तथ्य
- थर्ड जेंडर का अर्थ है किसी व्यक्ति की लिंग पहचान जो पुरुष या महिला से अलग है।
- थर्ड जेंडर के लोगों को अक्सर भेदभाव और अस्वीकृति का सामना करना पड़ता है।
- दुनिया भर में थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों के लिए काम करने वाले कई संगठन हैं।
- कुछ देशों में थर्ड जेंडर के लोगों को कानूनी रूप से मान्यता दी गई है।
- भारत में थर्ड जेंडर के लोगों को कानूनी रूप से मान्यता नहीं दी गई है, लेकिन कुछ राज्यों में थर्ड जेंडर के लोगों के लिए कुछ अधिकार हैं।
थर्ड जेंडर के लोगों के लिए क्या कदम उठाए जा सकते हैं?
- थर्ड जेंडर के लोगों के अधिकारों को सुरक्षित करने के लिए कानूनी प्रावधान किए जा सकते हैं।
- थर्ड जेंडर के लोगों के लिए शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल और रोजगार के क्षेत्र में समान अवसर प्रदान किए जा सकते हैं।
- थर्ड जेंडर के लोगों के लिए एक सुरक्षित और समावेशी समाज बनाया जा सकता है।