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अंजलि दास कौन हैं ? असम से लद्दाख तक का सफर पैदल तय करेगी ये महिला



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अंजलि दास कौन हैं ? असम के एक छोटे से गांव से आने वाली अंजलि दास (Anjali Das) का मकसद लोगों को फिजिकल फिटनेस के प्रति जागरूक करना है। 42 वर्षीय महिला दास ने अपने बेटे से प्रेरित होकर, अपनी बचत और ग्रामीणों के सहयोग से शुक्रवार, 13 अगस्त को मिर्जा, असम से लद्दाख के लिए पैदल चलना शुरू किया।

चार दिनों में दास लगभग 140 किलोमीटर चलकर पश्चिम बंगाल सीमा की ओर असम के अंतिम जिले कोकराझार पहुंचीं। बुधवार, 18 अगस्त तक दास असम की सीमा पार कर सकती हैं। दास का उद्देश्य एक दिन में कम से कम 50 किलोमीटर पैदल चलना है। उनका लक्ष्य असम से लद्दाख के बीच की दूरी यानी तीन महीने में लगभग 2,800 किलोमीटर की दूरी तय करना है।

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  • अंजलि दास को हाफ मैराथन पसंद हैं। वह लोगो के बीच फिजिकल फिटनेस और पैदल चलने के फायदों के बारे में जागरूकता फैलाना चाहती हैं।


  • असम के मिर्जा की रहने वाली, दास ने भारत के बड़े शहरों में आयोजित विभिन्न हाफ मैराथन में भाग लिया है। उन्होंने 2018 और 2019 में 21 किलोमीटर की दौड़ में, कोलकाता हाफ मैराथन में सिल्वर मैडल हासिल किया है। इसके अलावा उन्होंने मुंबई हाफ मैराथन में भी भाग लिया है।


  • कोरोना महामारी के कारण, दास पिछले दो वर्षों में कई आयोजनों में भाग नहीं ले सके। हालांकि, उसने घर पर कड़ी मेहनत की और इस साल खुद को एक बड़े एडवेंचर के लिए तैयार किया।


  • पैदल चलने के फायदों के बारे में लोगों को अवेयर करने के अलावा, एथलीट दास अपनी यात्रा में असम और पूर्वोत्तर में टूरिज़्म बढ़ाना चाहती है।


  • 2,000 किलोमीटर से अधिक की दूरी तय करना उनके लिए देश को जानने का जीवन भर का अनुभव होगा। इसके अलावा, वह भारत के नागरिकों के बीच शांति और भाईचारा फैलाना चाहती है।


  • दास की इक्छाये यहीं खत्म नहीं होती हैं। 20 साल की बच्ची की मां को अगर थोड़ी सी भी मदद मिले तो वह पूरे भारत की यात्रा करना पसंद करेगी।




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