How to develop the habit of reading in children?: पढ़ने की आदत बच्चों के मानसिक विकास और ज्ञानवर्धन के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह न केवल उनकी शैक्षिक क्षमता को बढ़ाता है बल्कि उनके तर्क, कल्पना और भाषा कौशल को भी मजबूत करता है। बच्चों में पढ़ने की आदत विकसित करने के लिए कुछ विशेष तरीकों को अपनाना बेहद आवश्यक है। आइए, जानते है कुछ उपायों के बारे में जिससे आप अपने बच्चों को एक जीवनभर की पढ़ने की आदत और ज्ञान के प्रति प्रेम सिखा सकते हैं।
बच्चों में पढ़ने की आदत कैसे विकसित करें
1. एक सकारात्मक और प्रेरक माहौल बनाएं
बच्चों को पढ़ने के लिए प्रेरित करने के लिए, सबसे पहले उन्हें एक सकारात्मक और प्रेरक माहौल प्रदान करें। घर में एक विशेष पढ़ने का कोना बनाएं जहाँ शांत और आरामदायक वातावरण हो। इस कोने में बच्चों की पसंदीदा किताबें रखें और उन्हें स्वतंत्रता दें कि वे किस किताब को पढ़ना चाहते हैं। इस तरह का माहौल बच्चों को पढ़ने के प्रति उत्साहित करेगा और वे इस आदत को सहजता से अपना सकेंगे।
2. प्रारंभ से ही पढ़ने की आदत डालें
पढ़ने की आदत बचपन से ही विकसित की जा सकती है। बच्चों के साथ शुरुआती वर्षों में ही किताबें पढ़ना शुरू करें। कहानियों और चित्रों वाली किताबें बच्चों को आकर्षित करती हैं, इसलिए उनके लिए ऐसे किताबों का चयन करें। नियमित रूप से उनके साथ बैठकर कहानियाँ पढ़ें और उन्हें किताबों के रंगीन चित्रों से जोड़ें। इससे उनकी पढ़ने की रूचि बढ़ेगी और वे इसे एक मनोरंजक गतिविधि के रूप में देखेंगे।
3. बच्चों के रुचि अनुसार किताबें चुनें
बच्चों की पढ़ने की आदत को विकसित करने के लिए, उनकी रुचियों और पसंद को ध्यान में रखना बहुत महत्वपूर्ण है। विभिन्न प्रकार की किताबें उपलब्ध कराएं जो उनके शौक और रुचियों को प्रतिबिंबित करें, चाहे वह फिक्शन हो, नॉन-फिक्शन, साइंस फिक्शन या फेयरी टेल्स। जब बच्चे अपनी पसंद की किताबें पढ़ते हैं, तो उनकी पढ़ने की इच्छा और अधिक बढ़ जाती है और वे इसे एक मजेदार अनुभव के रूप में अपनाते हैं।
4. नियमित पढ़ने का समय निर्धारित करें
बच्चों की दिनचर्या में पढ़ने के लिए एक विशेष समय निर्धारित करना उनकी आदत को मजबूत करने में सहायक होता है। उन्हें सोने से पहले, या दोपहर के भोजन के बाद, या किसी अन्य समय में पढ़ने का एक निश्चित समय दें। यह नियमितता बच्चों को पढ़ने की आदत को अपने दैनिक जीवन का हिस्सा बनाने में मदद करती है। यह समय विशेष रूप से बच्चों के लिए हो, जहाँ वे बिना किसी अन्य व्यवधान के पढ़ सकते हैं।
5. स्वयं एक उदाहरण बनें
बच्चों के लिए माता-पिता और परिवार के सदस्य सबसे बड़े आदर्श होते हैं। यदि बच्चे अपने माता-पिता को पढ़ते हुए देखेंगे, तो वे भी पढ़ने की ओर प्रेरित होंगे। इसलिए, बच्चों के सामने खुद भी किताबें पढ़ें और उन्हें बताएं कि आप किस किताब को पढ़ रहे हैं और क्यों। साथ ही, बच्चों के साथ पढ़ने की गतिविधियों में शामिल हों और परिवार के सभी सदस्य एक साथ पढ़ने का समय निकालें। यह बच्चों में पढ़ने की आदत को बढ़ावा देगा और उन्हें इसे एक सकारात्मक और सुखद अनुभव के रूप में देखेगा।