Know the Causes Symptoms And Prevention Measures Of Cervical Cancer: सर्वाइकल कैंसर आज के समय में बहुत चर्चा में हैं। डॉ. सुदेशना रे, वरिष्ठ सलाहकार प्रसूति एवं स्त्री रोग विशेषज्ञ बताती हैं: यूट्रस के सबसे निचले हिस्से को सर्विक्स कहा जाता है। गर्भाशय के इस हिस्से का कैंसर भारत में महिलाओं में होने वाला सबसे आम कैंसर है। दुनिया में सर्वाइकल कैंसर के एक चौथाई मामले भारत से हैं। इसलिए इस मामले पर सोचने की जरूरत है-
Cervical Cancer क्या है? जानिए एक्सपर्ट से कारण, लक्षण और बचाव के उपाय
आइये जानते हैं इसके क्या कारण हैं?
- जानकारी की कमी भी इसका एक मुख्य कारण है।
- अस्वच्छ आचरण का मतलब अपने शरीर की साफ सफाई नहीं करना और रेगुलर नहाने से बचना भी इसका कारण है।
- पहले इंटरकोर्स में कम उम्र होना जैसे अगर आप 20 साल की उम्र से पहले रेगुलर सेक्स होता तो इसके खतरा ज्यादा रहता है।
- एक से ज्यादा सेक्सुअल पार्टनर
- रेगुलर चैकअप्स की कमी
इसका इलाज है?
अगर आप सर्वाइकल कैंसर के बारे में एक अच्छी चीज जानना चाहते हैं वो यह है कि इसका इलाज है। यह 100% रोकने योग्य कैंसर है। इस कैंसर की एक प्री स्टेज है। अगर उस समय में इस डिटेक्ट कर लिया जाए और उसका इलाज कर लिया जाए तब यह 100% रोकने योग्य कैंसर हो जाता है।
Cervical Cancer Vaccination
आइये जानते हैं कि यह वैक्सीनेशन क्या करती है और कैसे काम करती है?
सर्वाइकल कैंसर की वैक्सीनेशन में बहुत सारे एंटीवायरस होते हैं। यह वाइरस सर्वाइकल कैंसर की मूल जड़ है। इसलिए इस वैक्सीनेशन के साथ आप कैंसर की रोकथाम कर सकते हैं जैसे इस वाइरस को मारकर या फिर अपनी वायरस से लड़ने की इम्युनिटी को बढ़ाकर।
HPV वायरस बॉडी में कैसे दाखिल होता है?
- वजाइना सेक्स के द्वारा
- ओरल सेक्स के द्वारा
- एनल सेक्स के द्वारा
इस वायरस के कोई लक्षण नहीं दिखाई देते हैं। इसलिए आप नहीं जान सकते कि आपका पार्टनर को एचपीवी इनफेक्शन है या नहीं। इसलिए आपको नहीं पता चलेगा कि आपको इन्फेक्शन पार्टनर से हो गया है या नहीं।
महिला जो सेक्शुअली एक्टिव है उसे सर्वाइकल कैंसर हो सकता है क्योंकि इसे STD यानी सेक्शुअली ट्रांसमिटेड डिजीज माना जाता है।
यह कैंसर सिंगल या मल्टीप्ल पार्टनर दोनों से ही हो सकता है।
यह आपको तुरंत भी हो सकता है या इसके प्रभाव आपको कुछ समय में भी देखने को भी मिल सकते हैं।
इस वायरस के साथ डील करने के लिए आपको अपनी इम्युनिटी बढ़ानी होगी ताकि आप इस वायरस के साथ फाइट कर सके।
इम्यूनिटी कैसी बढ़ाई जाए?
- पौष्टिक खाना खाए
- खुद की हाइजीन का ध्यान रखें
सर्वाइकल कैंसर की वैक्सीनेशन लेना जरूरी है?
सर्वाइकल कैंसर वैक्सीनेशन आपकी इम्युनिटी को बढ़ाता है और वायरस से लड़ने में मदद करता है। सर्वाइकल वैक्सीन की तीन डोज होती हैं। मान लीजिए अगर आप पहली डोज जनवरी में ले रहे हैं तो दूसरी बार मार्च और तीसरी डोस जून में आपको दी जाएगी।
सर्वाइकल कैंसर की वैक्सीनेशन देने का सबसे अच्छा टाइम क्या है?
सेक्शुअली एक्टिव होने से पहले भी आप इसे ले सकते हैं। यह वैक्सीन अडोलोसेन्स वैक्सीनेशन शे̮ड्यू्ल् के नीचे आती है जिसे 15 साल की उम्र से पहले दिया जाता है। इसमें सिर्फ दो डोस की जरुरत होती हैं। अगर आपने इस टाइम को मिस कर दिया है तब भी आप वैक्सीन ले सकते हैं। इस वैक्सीनेशन की रिकमेंडेशन 26 साल की उम्र तक ही दी जाती है लेकिन उसके बाद भी आप सर्वाइकल कैंसर वैक्सीनेशन ले सकते हैं। इसके लिए आपको डॉक्टर की सलाह लेने की जरूरत है। मल्टीपल यौन पार्टनर में अगर किसी को एचपीवी इनफेक्शन है तब आप 45 साल की उम्र के बाद भी इस वैक्सीनेशन को ले सकते हैं।
Side Effects
इसे आपको लाली आ सकती है, इंजेक्शन की जगह पर दर्द हो सकता है, हल्की सूजन आ सकती है, आपको बेहोशी हो सकती है और देखने में समस्या सकती है। इन सब का बहुत ही टेंपरेरी प्रभाव पड़ता है।
सबसे जरूरी बात जो आपको जानने की जरूरत है कि वैक्सीनेशन के बाद भी आपको रेगुलरली पेप्स स्मीयर टेस्ट जरूर करवाना चाहिए। इससे आपको प्री कैंसर स्टेज के बारे में पता लग सकता है। आप इसका इलाज करवा सकते हैं।