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Healthy Living Tips for Women to Thrive: 40 की उम्र के बाद महिलाओं के शरीर में कई शारीरिक और हार्मोनल बदलाव आते हैं जिन्हें समझना बहुत जरूरी है। बच्चे होने के बाद महिलाएं अपनी सेहत के ऊपर ध्यान देना छोड़ देती हैं जिसके कारण उन्हें बहुत सारी समस्याओं का सामना करना पड़ता है लेकिन उनकी सोच के अनुसार यह सब कुछ नॉर्मल है और उम्र के साथ ऐसा ही जाता है। चलिए आज हम जानते हैं कि 40 के बाद महिलाओं में कौन से बदलाव आते हैं। ये बदलाव हर महिला में अलग-अलग हो सकते हैं, लेकिन कुछ सामान्य परिवर्तन और उनकी देखभाल के तरीके जानते हैं-
40 की उम्र के बाद महिलाओं के शरीर में क्या बदलाव आते हैं? जानिए सही देखभाल के तरीके
1. मेनोपॉज की शुरुआत (पेरीमेनोपॉज)
40 के दशक (Midlife Tips) में कई महिलाओं में पेरीमेनोपॉज शुरू हो सकता है। इस दौरान एस्ट्रोजन और प्रोजेस्टेरोन हार्मोन का लेवल कम होने लगता है। इस समय दौरान आपको मेनोपॉज के लक्षण जैसे मूड स्विंग्स, अनियमित मासिक धर्म, हॉट फ्लैशेस, रात को पसीना और वजाइनल ड्राइनेस की समस्या हो सकती है। पेरीमेनोपॉज की एवरेज लेंथ 4 साल तक हो सकती है। ऐसे में डॉक्टर से सलाह लें। प्राकृतिक होने के कारण हम इसे रोक नहीं सकते हैं लेकिन डॉक्टर की सलाह के साथ इन्हें मैनेज जरूर किया जा सकता है।
2. मेटाबॉलिज्म में कमी
40 की उम्र के आसपास मेटाबॉलिज्म धीमा हो जाता है। इससे वजन कम करना और भी मुश्किल हो जाता है। अगर आप अपनी आदतों को नहीं बदलते हैं तो आपका वजन बहुत ज्यादा बढ़ सकता है जिसे बाद में कम करना मुश्किल हो सकता है। इसलिए 40 के बाद महिलाओं को अपने खाने-पीने की आदतें बदल लेनी चाहिए और पौष्टिक आहार खाना शुरू करना चाहिए जिसमें प्रोटीन, फाइबर और हेल्दी फैट शामिल हों। रोजाना 30 मिनट व्यायाम जैसे योग, वॉकिंग या स्ट्रेंथ ट्रेनिंग जरूर करनी चाहिए।
3. हड्डियों का कमजोर होना
मेनोपॉज के कारण हार्मोनल बदलाव होते हैं। हार्मोनल बदलाव के कारण ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा बढ़ता है, क्योंकि हड्डियों का घनत्व कम होने लगता है। यह अकेला कारण नहीं नहीं है लेकिन ज्यादा खतरा इसके कारण बढ़ जाता है। वहीं पर अगर हम अपनी देखभाल करते हैं और सही आदतों को अपने जीवन में शामिल करते हैं तो ऑस्टियोपोरोसिस का खतरा कम हो सकता है। ऐसे में तनाव को छोड़कर अच्छी नींद लेना शुरू करना चाहिए। इसके साथ ही अनियमित खानपान को छोड़कर कैल्शियम (1200 मिलीग्राम प्रतिदिन) और विटामिन डी से भरपूर आहार (दूध, दही, हरी सब्जियां, सूरज की रोशनी) लें। इसके साथ ही workout ट्रेनिंग भी करनी चाहिए।
4. त्वचा और बालों में बदलाव
40 की उम्र में कोलेजन कम होने से त्वचा में झुर्रियां और ढीलापन आ सकता है। इसके साथ ही बाल कमजोर और सफेद होने लगते हैं। त्वचा की देखभाल के लिए आपको अपनी बॉडी को हाइड्रेट रखना चाहिए। डेली रूटीन में हाइड्रेटिंग मॉइस्चराइजर और सनस्क्रीन का इस्तेमाल करें। इसके साथ ही डाइट में कुछ बदलाव करने चाहिए जैसे बायोटिन और ओमेगा-3 से भरपूर भोजन बालों और स्किन के लिए फायदेमंद है।
5. मानसिक स्वास्थ्य
40 की उम्र के बाद हार्मोनल उतार-चढ़ाव के कारण चिंता, तनाव या नींद की समस्या हो सकती है। 40 के बाद आपकी जिंदगी में कुछ ऐसे बदलाव आते हैं जिनके कारण आपकी मानसिक सेहत प्रभावित हो सकती है लेकिन बहुत सारी महिलाएं इस पर ध्यान नहीं देती जिसके कारण में डिप्रेशन, स्ट्रेस, एंग्जायटी या फिर पर ब्रेन फोग जैसी समस्याओं से जूझना पड़ता है। ऐसे में मेडिटेशन, गहरी सांस (Breathing Technique) लेने की तकनीक और पर्याप्त नींद (7-8 घंटे) लें। इसके साथ ही सपोर्ट के लिए काउंसलर से बात करें।
Disclaimer: इस प्लेटफॉर्म पर मौजूद जानकारी केवल आपकी जानकारी के लिए है। हमेशा चिकित्सा या स्वास्थ्य संबंधी निर्णय लेने से पहले किसी एक्सपर्ट से सलाह लें।