The Overlooked Issue of Women's Mental Health: आजकल, मानसिक स्वास्थ्य को लेकर समाज में काफी जागरूकता आई है, लेकिन महिलाओं के मानसिक स्वास्थ्य की अनदेखी एक गंभीर समस्या बनी हुई है। महिलाओं को शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दों में विभिन्न प्रकार की चुनौतियों का सामना करना पड़ता है, जिनकी अधिकतर अनदेखी की जाती है। यह समस्या समय के साथ बढ़ती जा रही है और इसका समाधान ढूंढना अत्यंत आवश्यक है।
महिलाओं के मानसिक स्वास्थ्य की अनदेखी समस्या
1. समाजिक दबाव और मानसिक स्वास्थ्य
समाज में महिलाओं पर कई सामाजिक दबाव होते हैं, जैसे परिवार की देखभाल, कामकाजी महिलाओं के लिए समय की कमी और पारंपरिक भूमिकाओं की उम्मीदें। इन दबावों के कारण महिलाएं मानसिक तनाव का सामना करती हैं, जिससे अवसाद, चिंता और अन्य मानसिक समस्याएँ उत्पन्न हो सकती हैं।
2. हार्मोनल बदलाव
महिलाओं में हार्मोनल बदलाव, जैसे गर्भावस्था, मासिक धर्म और मेनोपॉज, मानसिक स्वास्थ्य पर गहरा प्रभाव डालते हैं। इन बदलावों के कारण मूड स्विंग्स, चिंता और अवसाद जैसी समस्याएँ उत्पन्न हो सकती हैं। हालांकि, इन समस्याओं को अक्सर सामान्य माना जाता है, लेकिन उनका दीर्घकालिक प्रभाव महिलाओं के मानसिक स्वास्थ्य पर पड़ता है।
3. मानसिक स्वास्थ्य पर शिक्षा की कमी
महिलाओं में मानसिक स्वास्थ्य के प्रति जागरूकता की कमी है। बहुत सी महिलाएं मानसिक समस्याओं के लक्षणों को पहचान नहीं पातीं और मदद नहीं लेतीं। इसके कारण उनकी मानसिक स्थिति बिगड़ सकती है और स्थिति गंभीर हो सकती है। महिलाएं परिवार का ध्यान रखते रखते खुद का ध्यान नहीं रख पाती है जिस वजह से उनको मानसिक स्वास्थ्य का सामना करना पड़ता है।
4. मनोचिकित्सक तक पहुँचने में कठिनाई
महिलाओं को मानसिक स्वास्थ्य के लिए मनोचिकित्सक से परामर्श लेने में संकोच होता है। कई बार महिलाएं सामाजिक स्टिगमा के डर से इलाज नहीं करातीं। इसके परिणामस्वरूप, मानसिक स्वास्थ्य समस्याएं और भी गंभीर हो जाती हैं। अपने काम में इतना वस्त हो जाती है कि खुद का ध्यान नहीं रख पाती जिस से ये समस्या आती है और समय से सही डॉक्टर का नहीं मिलना भी एक बहुत बड़ा कारण है मासिक स्वास्थ बिगड़ने का।
5. सामाजिक और पारिवारिक समर्थन की कमी
महिलाओं को मानसिक स्वास्थ्य के मुद्दों पर खुलकर बात करने में कठिनाई होती है, क्योंकि कई बार परिवार या समाज उन्हें इस बारे में बात करने के लिए प्रोत्साहित नहीं करते। समर्थन की कमी के कारण महिलाएं अपनी समस्याओं को दबाकर रखती हैं, जिससे मानसिक स्वास्थ्य पर नकारात्मक असर पड़ता है।