Safe Sex Tips: जानिए यौन संचारित रोगों से बचाव के कुछ उपाय

आज के समय में यौन स्वास्थ्य एक महत्वपूर्ण विषय बन चुका है, जिसे नजरअंदाज करना हमारे शारीरिक और मानसिक जीवन पर गहरा प्रभाव डाल सकता है। इसके लिए कुछ जरूरी सावधानियों और नियमों को अपनाना बेहद जरूरी है।

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Sanya Pushkar
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tips to have safe sex

Safe Sex Tips for the prevention of sexually transmitted diseases: आज के समय में यौन स्वास्थ्य एक महत्वपूर्ण विषय बन चुका है, जिसे नजरअंदाज करना हमारे शारीरिक और मानसिक जीवन पर गहरा प्रभाव डाल सकता है। असुरक्षित यौन संबंध न केवल अनचाहे गर्भधारण का कारण बनते हैं, बल्कि एचआईवी, गोनोरिया, सिफलिस, हर्पीज़ और क्लैमाइडिया जैसे यौन संचारित रोगों एसटीडी के फैलाव का भी मुख्य कारण हैं। इसलिए, हर व्यक्ति के लिए यह जानना आवश्यक है कि सेफ सेक्स क्या है और इसे अपनाकर कैसे हम खुद को और अपने साथी को इन रोगों से सुरक्षित रख सकते हैं। सेफ सेक्स का मतलब है ऐसा यौन व्यवहार करना जिसमें संक्रमण का खतरा कम से कम हो और इसके लिए कुछ जरूरी सावधानियों और नियमों को अपनाना बेहद जरूरी है।

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जानिए यौन संचारित रोगों से बचाव के कुछ उपाय

1. कंडोम का सही उपयोग करें

सेफ सेक्स की दिशा में पहला और सबसे प्रभावी कदम है कंडोम का सही और नियमित उपयोग। यौन संबंध बनाते समय चाहे वह योनि, गुदा या मौखिक हो, हर बार नया कंडोम इस्तेमाल करना चाहिए। कंडोम पुरुष और महिला दोनों के लिए उपलब्ध होते हैं और ये एचआईवी, क्लैमाइडिया, गोनोरिया जैसे कई यौन संचारित रोगों से सुरक्षा प्रदान करते हैं। साथ ही यह अवांछित गर्भधारण से भी बचाता है। कंडोम को सही तरीके से पहनना और संभोग के बाद तुरंत हटाना आवश्यक है ताकि उसका प्रभाव बना रहे।

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2. एक ही यौन साथी के साथ संबंध बनाएँ

बहुत से यौन साथी होने से यौन संचारित रोगों का खतरा बढ़ जाता है। यदि संभव हो तो एक ही विश्वसनीय और एस टी डी मुक्त साथी के साथ संबंध बनाना अधिक सुरक्षित होता है। यदि कोई नया साथी हो, तो यौन संबंध बनाने से पहले दोनों को एस टी डी की जांच करवाना चाहिए। विश्वास और पारदर्शिता, सेफ सेक्स की दिशा में अहम भूमिका निभाते हैं।

3. नियमित रूप से स्वास्थ्य जांच कराएँ

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चाहे कोई लक्षण हो या न हो, यौन रूप से सक्रिय व्यक्तियों को नियमित रूप से यौन रोगों की जांच करानी चाहिए। कई बार यौन रोगों के लक्षण स्पष्ट नहीं होते, जिससे वे अनजाने में दूसरों को संक्रमित कर सकते हैं। समय पर जांच कराने से किसी भी संक्रमण की पहचान जल्दी हो जाती है और इलाज भी समय पर शुरू हो सकता है।

4. नशीली चीजों से दूर रहें

शराब या नशीले पदार्थों के प्रभाव में व्यक्ति अक्सर असुरक्षित यौन संबंध बना लेते हैं, जिससे एस टी डी का खतरा बहुत अधिक बढ़ जाता है। नशे की हालत में निर्णय लेने की क्षमता कमजोर हो जाती है और कंडोम का इस्तेमाल या सही साथी का चुनाव नजरअंदाज किया जा सकता है। इसलिए सेफ सेक्स के लिए जरूरी है कि आप सतर्क रहें और नशीले पदार्थों से दूरी बनाए रखें।

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5. यौन शिक्षा और जागरूकता को अपनाएँ

यौन स्वास्थ्य को लेकर खुलकर बात करना और सही जानकारी रखना बहुत जरूरी है। स्कूलों, कॉलेजों और समाज में यौन शिक्षा का प्रचार होना चाहिए ताकि युवा और वयस्क दोनों ही सुरक्षित यौन व्यवहार के बारे में जान सकें। इंटरनेट और हेल्थ सेंटर्स से सही जानकारी लेकर अपने निर्णय को जागरूक और सुरक्षित बनाना चाहिए।

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