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How Jennifer Daniel Is Redefining Digital Expression: 17 जुलाई को वर्ल्ड इमोजी डे मनाया जाता है। इस दिन को इमोजी की उस भूमिका के लिए याद किया जाता है, जिसने हमारे बात करने के तरीके को बदल दिया। लेकिन यही तारीख क्यों चुनी गई? क्योंकि 17 जुलाई की तारीख सबसे पहले कैलेंडर वाले इमोजी में दिखाई दी थी। इमोजी का इस्तेमाल नया है, लेकिन इसने जल्दी ही हमारे बातचीत करने के तरीके को खास बना दिया।
World Emoji Day 2025: जानिए इमोजी की दुनिया को नई पहचान देने वाली Jennifer Daniel कौन हैं?
1862 में इमोटिकॉन की शुरुआत
1862 में, द न्यू यॉर्क टाइम्स ने अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति अब्राहम लिंकन के भाषण की रिपोर्ट में गलती से ":)" छाप दिया था। इसे इमोटिकॉन (जैसे 😊) के पहले इस्तेमाल के रूप में देखा जाता है।
इमोजी का सफर और बदलाव
1999 में जब इमोजी की शुरुआत हुई, तब से लेकर अब तक इसमें काफी बदलाव आए हैं। आज इमोजी ज्यादा समावेशी (Inclusive) बन चुके हैं जैसे अलग-अलग त्वचा के रंग, हिजाब पहनने वाली महिलाएं, व्हीलचेयर पर बैठे लोग और समलैंगिक जोड़े भी इनमें शामिल हैं।
इमोजी बदलाव की अहम चेहरा जेनिफर डैनियल
जेनिफर डैनियल एक कलाकार, डिजाइनर और आर्ट डायरेक्टर हैं। उन्हें "इमोजी बनाने वाली महिला" के रूप में जाना जाता है। उन्होंने इमोजी को जेंडर के लिहाज़ से ज्यादा समावेशी बनाने में अहम भूमिका निभाई है।
वह Unicode की इमोजी सबकमेटी की पहली महिला अध्यक्ष हैं। यह कमेटी तय करती है कि कौन-से नए इमोजी आएंगे और उन्हें सभी के लिए समझना और इस्तेमाल करना आसान हो।
इसके अलावा, जेनिफर Google और Android में एक्सप्रेशन क्रिएटिव डायरेक्टर भी हैं। उनका पहला बड़ा योगदान जेंडर-समावेशी इमोजी को यूनिकोड में शामिल कराना था।
बड़ी टेक कंपनियों में ज्यादातर थे Male Emoji
जेनिफर डैनियल ने देखा कि यूनिकोड के मुताबिक 64 इमोजी gender-neutral थे, लेकिन बड़ी tech कंपनियाँ जैसे Samsung, Apple और Google इन्हें ज़्यादातर male के तौर पर दिखा रही थीं।
उदहारण के तौर पर construction worker का इमोजी gender-neutral होना चाहिए था, लेकिन उसे male के रूप में डिज़ाइन किया गया और female वर्ज़न को बाद में शामिल किया गया।
Gender-Inclusive इमोजी
डेनियल की लीडरशिप में, गूगल 2019 में पहली कंपनी बनी जिसने ऐसा इमोजी बनाया जो न तो पूरी तरह मेल था और न ही फीमेल। इसका मकसद यह दिखाना था कि जेंडर सिर्फ दो तरह का नहीं होता। डेनियल ने 30 से ज़्यादा gender-inclusive इमोजी बनाए, जैसे Mx Claus, Man in veil और Woman in tuxedo.
जेनिफर डैनियल कौन हैं?
जेनिफर डैनियल अमेरिका के कंसास में पली-बढ़ीं और न्यू यॉर्क टाइम्स व न्यू यॉर्कर में काम कर चुकी हैं। उन्होंने आर्ट की पढ़ाई की और क्रिएटिव राइटिंग भी पढ़ाई है।
वे कई बच्चों की किताबें लिख चुकी हैं, जिनमें "Space!" 2015 में आई थी। इसके बाद "The Origin of (Almost) Everything" (2016) और "How to Be Human" (2017) पब्लिश हुई।
इमोजी के भविष्य पर बात करते हुए उन्होंने कहा, "एक समय ऐसा आएगा जब बात सिर्फ नए इमोजी बनाने की नहीं होगी, बल्कि उन इमोजी के साथ इंटरैक्शन का अनुभव बनाने की होगी।" उन्हें काउबॉय इमोजी पसंद है, जबकि "हग" और "कर्स्ड" इमोजी कम पसंद हैं।