Vermilion Benefits: सिंदूर दान हिंदू धर्म में वैवाहिक जीवन का सबसे महत्वपूर्ण प्रतीक माना जाता है। सिंदूर को दूल्हा दुल्हन के माथे पर लगाता है। जिसे पहली बार एक महिला पर उसके पति द्वारा उसकी शादी के दिन लगाया जाता है। सिंदूर एक लाल-नारंगी रंग का पाउडर है जो पारंपरिक रूप से विवाहित हिंदू महिलाओं द्वारा उनके वैवाहिक जीवन को चिन्हित करने के लिए उपयोग किया जाता है। यह शुभ माना जाता है और पति की समृद्धि और लंभी आयु के लिए प्रतीक है। दूल्हे द्वारा सिंदूर लगाने का कार्य हिंदू विवाह रीति-रिवाजों का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है और पति और पत्नी के बीच मिलन और प्रतिबद्धता का प्रतीक है। सिंदूर महिलाओं के सुहाग की निशानी है। सिंदूर लगाने के भी बड़े फियदे हैं आइये जानें अधिक इस ब्लॉग में-
सिंदूर दान का इतिहास
हिंदू पौराणिक कथाओं के अनुसार माना जाता है कि जब माता पार्वती भगवान शिव से विवाह करना चाहती थीं जिसके लिए उन्होंने तपस्या किया। उन्हे देखकर भगवान शिव ने उनसे विवाह करने का प्रस्ताव स्वीकार कर लिया लेकिन उन्होंने माता पार्वती के सामने एक शर्त रखी कहा कि अपने तीसरे नेत्र जो उनके माथे पर है,उसकी बलि दे दो। हालाँकि शादी करने के लिए माता पार्वती ने प्रस्ताव स्वीकार कर लिया। उस विशेष दिन पर शिव ने पार्वती का तीसरा नेत्र निकाल दिया जिसके बाद रक्तस्राव शुरू हो गया था। इस तरह वह स्थान अहम बन गया इसलिए माथे पर विवाहित महिलाएँ सिंदूर लगाती हैं।
विवाहित महिलाओं के लिए सिंदूर का महत्व
ऐसी मान्यता है कि सिंदूर लगाने से न केवल विवाहित महिला के पति की रक्षा होती है बल्कि उसे बुराइयों से भी बचाया जाता है। इण्डिया में सिंदूर दान एक शादी में सबसे महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।
विवाहित महिलाओं के लिए सिंदूर लगाने के कौन से फायदे हैं?
1. विवाह का प्रतीक सिंदूर
हिंदू परंपराओं में सिंदूर को विवाह का प्रतीक माना जाता है। यह दर्शाता है कि यह एक महिला विवाहित है।
2. शुभ और सौभाग्य
माना जाता है कि सिंदूर पति के लिए सौभाग्य, समृद्धि और दीर्घायु लाता है। यह एक शुभ प्रतीक माना जाता है और वैवाहिक सद्भाव और खुशी से जुड़ा होता है।
3. धार्मिक महत्व
सिंदूर विभिन्न हिंदू देवताओं, विशेष रूप से देवी पार्वती से जुड़ा हुआ है, जिन्हें आदर्श पत्नी माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि सिंदूर लगाने से देवी प्रसन्न होती हैं और पति की सलामती और लंबी उम्र सुनिश्चित होती है।
4. संरक्षण और आशीर्वाद
माना जाता है कि सिंदूर में सुरक्षात्मक और आशीर्वाद गुण होते हैं। ऐसा माना जाता है कि यह विवाहित महिला और उसके पति को नकारात्मक ऊर्जा या बुरी आत्माओं से बचाता है।
5. स्वास्थ्य लाभ
सिंदूर में इस्तेमाल होने वाली पारंपरिक सामग्री जैसे हल्दी, चूना और केसर अपने एंटीसेप्टिक और औषधीय गुणों के लिए जाने जाते हैं। ऐसा माना जाता है कि माथे पर सिंदूर लगाने से स्वास्थ्य अच्छा रहता है और बीमारियों से बचाव होता है।