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परिवार में दोनों के लिए एक-दूसरे की इज़्ज़त ज़रूरी है
Divorce Issue: आज भी परिवार में शादी के बाद स्थितियां वो नहीं रहतीं जो पहले होती हैं। पहले समय में शादी के बाद अगर कुछ भी होता था तो महिलाएं चुपचाप सहन कर लेती थीं। पर आज स्थिति कहीं आगे बढ़ गई है। आज महिलाएं शिक्षित हैं, कमा रही हैं, हर तरह से सशक्त हैं, ऐसे में अगर उन्हें किसी भी तरह की कहीं कोई चूक दिखती है और वैलिड रीसन होता है तो महिलाएं तलाक़ लेने के लिए आगे बढ़ जाती हैं। ऐसे ही पुरुषों के साथ हैं। पुरुषों में भी अनावश्क आरोप सही नहीं। संविधान ने सबको बराबर अधिकार दिए हैं, हर किसी को अपनी ज़िंदगी इज़्ज़त से जीने का अधिकार है।
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कारण जो बढ़ाते हैं रिलेशनशिप में दरार
आज हम उन कारणों की बात करेंगे जिससे शादीशुदा ज़िंदगी अज़ाब बन जाती है। मामला इतना बढ़ जाता है कि हालात डाइवोर्स तक आ जाते हैं। आइए जानें उन कारणों को :-
- बराबरी का दर्जा न मिलना : हर महिला चाहती है उसे बराबरी का अधिकार मिले। उसे महिला के कामों, पुरुष के कामों में बांटकर गुमराह न किया जाए। अगर जॉब के साथ घर के काम महिला कर सकती है तो पुरुष भी कर सकता है। घर पर जितनी इज़्ज़त उसके पति की है, उतनी ही उसकी हो। और जब घर से दूर ख़ुद पति पर बात आती है, पति ही उसको बराबरी का दर्ज़ा नहीं देता तो स्थितियां बिगड़ जाती हैं।
- रेस्पैक्ट न करना : हर महिला का अधिकार है वो इज़्ज़त के साथ जिए। ऐसे में अगर उसका पति उसकी इज़्ज़त नहीं करता, या घर में उसे इज़्ज़त नहीं मिलती, तो महिला परिवार को छोड़ने पर मजबूर हो जाती है। बात-बात में पति या परिवार के ताने आज किसी महिला के लिए बर्दाश्त से बाहर हैं। पत्नि को भी पति की इज़्जत करनी चाहिए।
- बात न सुनना : शादी-शुदा ज़िंदगी में ज़रूरी है पति-पत्नि और परिवार के बीच कम्यूनिकेशन हो। एक-दूसरे की परेशानियों को समझना, उसे दूर करना हो। ऐसे में अगर संवाद सही तरह नहीं होता तो वेवजह के शक़ पैदा हो जाते हैं जिनसे समस्या सुलझने के बजाए उलझना शुरू हो जाती हैं। पत्नि या बहू की बात परिवार में हर किसी को सुननी होती है। वही पति की बात अगर पत्नि नहीं सुनती तो वेवजह का कलेश बढ़ता है।
- एब्यूसिव लांग्वेज का प्रयोग : घर पर उचित शब्दों का प्रयोग न करके एब्यूसिव लांग्वेज का चयन शादी-शुदा जोड़ों में दरार ला देता है। ऐसे में घर का वातावरण एब्यूसिव चीज़ों से दूर होना चाहिए। पत्नि भी घर का ही एक सदस्य होती है, ऐसे में उसकी उतनी ही इज़्ज़त है जितनी बाक़ी सब की।
- छोटी-छोटी बात में झगड़ना : अक्सर महिलाओं या पुरुषों दोनों की समस्या होती है कि उनका पति या उनकी पत्नि छोटी-छोटी बात में झगड़ना शुरू कर देता या देती हैं। ऐसे में छोटी-छोटी बात को इग्नोर करना ही सही है। बेहतर है ख़ुद वो काम कर लिया जाए या इग्नोर किया जाए जो झगड़े का सबब बने।
इन कारणों पर अगर ध्यान दिया जाए तो वैवाहिक रिश्ते और ज़िंदगी अच्छी बनाई जा सकती है।