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क्या शादी से पहले Second Thoughts आना लाज़मी है?

ओपिनियन | रिलेशनशिप: ऐसा कई बार होता है की शादी से पहले आप अपने पार्टनर के साथ अपना पूरा जीवन व्यतीत करने के फैसले पर दोबारा विचार करेI अक्सर लड़कियां इस विचार को टाल देती है लेकिन आगे चलकर यही विचार आपकी शादीशुदा जीवन में असर कर सकती हैI

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Sukanya Chanda
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Is It Okay To Have Second Thoughts Before Marriage? (image credit- Hindu Priest)

Is It Okay To Have Second Thoughts Before Marriage?: शादी एक बहुत ही पवित्र बंधन होता है जहां आप अपने साथी के साथ अपना पूरा जीवन बिताने का वादा करते हैI उसके साथ, अपनी पूरी सहमति के साथ एक दूसरे के सुख-दुख बांटने का निर्णय लेते है और ऐसे फैसले काफी नाजुक होते हैं जो आपको तभी लेने चाहिए जब आप पूरी तरह से शादी के लिए सहमत है, ना ही तब जब आपको लगे या आपको यह महसूस करवाया जाए कि आपकी उम्र हो चुकी है या फिर परिवार वाले चाहते हैं आप दोनों को जल्द से जल्द एक साथ देखनाI हो सकता है कि इस तरह जल्दबाजी में या फिर सोच समझ कर भी शादी का फैसला करने के बाद शादी से ठीक पहले आपको अपने निर्णय पर संदेह होI ऐसे में सही यही होगा कि आप दोबारा अपने फैसले पर अमल करे ना की दूसरों के बारे में सोचे क्योंकि रिश्ता आपको निभाना है आपके परिवार या समाज को नहींI 

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क्यों आएंगे किसी को सेकंड थॉट्स?

जैसा कि कहा गया है कि शादी का बंधन जितना ही मज़बूत है, उतना नाजुक भी है इसलिए ऐसे फैसले दृढ़ संकल्प और आत्मविश्वास के साथ लेने चाहिए जब आप पूरी तरह से मन से इसके लिए तैयार होI पर फिर भी हो सकता है कि शादी से पहले आप दोबारा अपने निर्णय पर सोचने पर मजबूर हो जाए क्योंकि यह पूरे जीवन की बात है और एक साथ जीवन बिताने के वक्त कई तरह के उतार चढ़ाव का सामना करना पड़ता है कई तरह की एडजस्टमेंट करने पड़ते है, यहां तक की कभी ना कभी कंप्रोमाइज भी करना पड़ता हैI यह सोचकर हो सकता है कि हमारा विश्वास डगमगा जाए और ऐसा होना बिल्कुल लाज़मी हैI इसका मतलब यह नहीं कि आप अपने पार्टनर या फिर उसे दिए गए अपने कमिटमेंट के प्रति बेईमान है बल्कि दोबारा से अपने जीवन के बारे में सोचना सही है क्योंकि एक बार शादी हो जाए उसके बाद यदि इस तरह के विचार आपके मन को खटकने लगे तब उसका असर आपकी शादीशुदा जीवन पर पड़ सकता हैI पहली बात तो कभी भी समाज या घर वालों के दबाव में आकर शादी जैसा महत्वपूर्ण फैसला ना ले क्योंकि जीवनसाथी के साथ पूरा जीवन आपको बिताना है ऐसा आप कब और किसके साथ करेंगे इस निर्णय का अधिकार भी आप ही का होना चाहिएI हो सकता है शादी से पहले आपकी अपने पार्टनर के साथ किसी तरह की समस्या हो जाए या फिर आपको यह एहसास हो कि अभी भी आपके जीवन में कुछ हासिल करना बाकी है या आप शायद इस कमिटमेंट से पूरी तरह से खुश नहीं हैI ऐसे में इन विचारों पर गौर फरमाएI

ऐसे में किसी को शादी से पहले क्या करना चाहिए?

ऐसे में पहले तो आपको अपने समस्याएं या विचार अपने पार्टनर से साझा करना चाहिए क्योंकि जिसके साथ आप अपना जीवन व्यतीत करने जा रहे है यदि आप अब उसके साथ अपनी तकलीफ नहीं बाटेंगे तो फिर रिश्ते में साझेदारी का क्या अर्थ रह जाता है और फिर देखिए कि उनकी प्रतिक्रिया क्या रहती हैI यदि आपके पार्टनर ऐसे पल में आपके लिए सहयोगी ना हो और आपको दोष दे तो तभी इस रिश्ते से बाहर निकल आएI यदि आपको लगे कि आप अभी शादी के लिए तैयार नहीं है तो ब्रेक ले और खुद को थोड़ा समय देI इस बारे में अवश्य अपने परिवार वालों के साथ विचार विमर्श करें ऐसे मौके जरूर आएंगे जब वह आप पर दबाव बनाए कि रिश्तेदारों को कार्ड बट चुके हैं और भारी खर्च हो चुके हैं लेकिन यह आपको समझना और समझाना है कि रिश्तेदारों में इज्जत और वह खर्च आपकी बिगड़ी हुई जीवन की कीमत नहीं चुका पाएंगेI यदि आप पीछे नहीं हटते है तो शादी के बाद आप पूरी तरह से अपने रिश्ते को निभाने में असमर्थ रहेंगे जो आपके पार्टनर के साथ भी अन्याय होगाI यदि अपने पार्टनर के साथ बात करके आपकी संदेह सुलझ जाती है तो इससे खुशी की बात और क्या? लेकिन यदि आप खुश ना हो तो जरूर याद रखे कि शादी के बाद ना आप अपने जीवनसाथी को खुश रख पाएंगे ना ही आपके परिवार वाले खुश होंगेI

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