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Love in Balance: क्या रिश्ते में सिर्फ खुशियां ही होनी चाहिए?

बहुत सारे लोग से रिलेशनशिप को तबl ही सफल मानते हैं जिसमें सिर्फ प्यार और खुशियां ही होती हैं लेकिन यह रिश्ते की एक साइड है। अपने पार्टनर का उस समय भी साथ देना जब उसके पास कुछ भी नहीं है

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Rajveer Kaur
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cross cultural relationship

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The Myth of the Perfect Relationship: बहुत सारे लोग से रिलेशनशिप को तबl ही सफल मानते हैं जिसमें सिर्फ प्यार और खुशियां ही होती हैं लेकिन यह रिश्ते की एक साइड है। अपने पार्टनर का उस समय भी साथ देना जब उसके पास कुछ भी नहीं है या पर वह किसी मुसीबत से गुजर रहा है तो यह एक हेल्दी रिलेशनशिप की निशानी है। आज के इस आर्टिकल में हम बात करेंगे कि क्या रिलेशनशिप का मतलब सिर्फ हर समय खुश रहना और एंजॉय करना है? चलिए जानते हैं-

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क्या रिश्ते में सिर्फ खुशियां ही होनी चाहिए 

प्यार में होने का मतलब हमेशा खुश रहना नहीं है

आज के समय में इस बात को समझने की बहुत ज्यादा जरूरत है। बहुत सारे लोगों को लगता है कि अगर हम किसी रिलेशनशिप में होते हैं तो हमें हमेशा खुशियां ही चाहिए या फिर हमें किसी मुसीबत का सामना नहीं करना पड़ेगा लेकिन रिलेशनशिप में आपकी कमिटमेंट जितनी ज्यादा होगी उतना ही आपके पार्टनर के उतार-चढ़ाव में साथ देना पड़ेगा। एक हेल्दी रिलेशनशिप में होने का मतलब है कि आप पार्टनर की खुशियों से ज्यादा उनके बुरे समय में साथ रहते हैं। आप उनका हर तरीके से सपोर्ट करते हैं और उन्हें कभी भी अकेला नहीं छोड़ते हैं।

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कभी भी किसी रिलेशनशिप में इसलिए नहीं शामिल होना चाहिए क्योंकि आपकी लाइफ आसान हो जाएगी या फिर आपको किसी बुरे समय से नहीं गुजरना पड़ेगा। आपको यह सोचना चाहिए कि अगर आज आप अपने पार्टनर के साथ अच्छा समय व्यतीत कर रहे हैं तो अगर कल उनके ऊपर बुरा समय भी आ जाएगा तो भी आपको उनका साथ देना पड़ेगा। यह सिर्फ एक जेंडर के लिए नहीं है। जब आप किसी पार्टनर को अपनी लाइफ में आने की अनुमति देते हैं तो इससे आप सभी अच्छी और बुरी चीजों को स्वीकार करते हैं।

प्यार में दर्द जरुरी 

यह बात भी आपको समझने की जरूरत है कि आप जितना ज्यादा रिलेशनशिप में दर्द या फिर पीड़ा से गुजरेंगे, उतना ही आपका रिश्ता गहरा और मजबूत बनेगा। आप पार्टनर को बहुत करीब से जानेंगे। इससे आप पार्टनर के सामने वल्नरेबल हो सकते हैं। आपको पार्टनर के सामने फेक होने की जरूरत नहीं पड़ती बल्कि आप अपने आप को खुलकर व्यक्त करने लग जाते हैं। आपका पार्टनर के साथ बॉन्ड इतना ज्यादा स्ट्रांग हो जाता है कि आपको उनके साथ झिझक महसूस नहीं होती। रिलेशनशिप में जितना एक साथ खुशियों को सेलिब्रेट करना है तो उतना ही यह भी जरूरी है कि आप एक साथ दुख में से गुजरे या फिर दर्द का सामना करें। यह सुनने में अटपटा जरूर लग सकता है लेकिन जब आप दर्द से निकल कर खुशियों में जाएंगे तो ये दोगुनी हो जाएगी। इसलिए कभी भी रिलेशनशिप में मुसीबत के आने से मत डरें बल्कि उनका एक साथ मुकाबला करें।

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