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Relationship: क्या होता है Codependent Relationship जानिए इसके लक्षण

Codependent relationship एक संबंध होता है जो दो व्यक्तियों के बीच में एक खराब छवि को दर्शाता है। इसमें एक व्यक्ति दूसरे की जरूरतों और इच्छाओं के लिए अत्यधिक रूप से लगा रहता है, जबकि दूसरा व्यक्ति आजादी चाहता हैं।

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Kavya Gupta
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Relationship (freepik)

(Image Source: freepik)

 What is Codependent Relationship: इस तरह के रिश्तों में एक व्यक्ति अपने साथी के लिए हर समस्या का हल ढूंढने में जुटा रहता है। उन्हें अपने साथी की सभी इच्छाओं को पूरा करने की जिम्मेदारी महसूस होती है और इस स्तिथि में वे अपने बारें में सोचना भूल जाते हैं। इसके परिणामस्वरूप, वे अपने जीवन के अन्य क्षेत्रों में ध्यान नहीं देते और अपने साथी की खुशी के लिए अपने व्यक्तिगत सुख और संतोष को बलिदान कर देते हैं। इस तरह के रिश्ते व्यक्ति को आत्मसम्मान और स्वतंत्रता से वंचित कर देते हैं, जिससे उनकी मानसिक स्थिति प्रभावित हो सकती है।

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क्या होता है Codependent Relationship जानिए इसके लक्षण

1. निरंतर चिंता

कोडेपेंडेंट व्यक्ति अक्सर अपने साथी की चिंता करते हैं और उनकी जरूरतों को अपनी जरूरतों से ऊपर स्थान देते हैं। वे अपने साथी की हर समस्या और दुख को सुलझाने का प्रयास करते हैं, भले ही वे खुद की ठीक से देखभाल नहीं कर पा रहे हों। इससे उनका संतुलन और आत्म-सम्मान प्रभावित हो सकता है।

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2. अपने बारे में न सोचना

एक कोडेपेंडेंट रिलेशनशिप में, एक पार्टनर अक्सर अपने बारे में सोचना भूल जाता है। वे अपना सारा ध्यान और समय अकेले अपने साथी के लिए समर्पित कर देते हैं, जिससे वे अपनी आत्म जरूरतों और खुशियों को अनदेखा कर देते हैं। इसके परिणामस्वरूप, वे अपनी आत्म-सम्मान और आत्म-विश्वास को खो सकते हैं।

3. अधिक निर्भरता

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आप अपने साथी के बिना कोई निर्णय नहीं ले सकते और उनके बिना अपने जीवन को सोचने के लिए असमर्थ महसूस करते हैं। वे अपनी जिंदगी के हर पहलू पर अपने साथी के मत का आधार रखते हैं और उनके बिना कुछ फैसले लेने में असमर्थ महसूस करते हैं। इससे वे अपनी खुद की स्वतंत्रता और स्वाधीनता का अहसास खो सकते हैं, जो उनकी व्यक्तित्व और स्वास्थ्य के लिए महत्वपूर्ण है।

4. सीमित स्वतंत्रता

आप अपनी स्वतंत्रता और अपने स्वार्थ के लिए संघर्ष करते हैं। ऐसे रिश्ते में आप अपनी आज़ादी को भूल जातें हैं अपनी इच्छाओं गला घोटकर सिर्फ दूसरे की मर्ज़ी ही आपके लिए सबसे ऊपर रहती हैं। आप सिर्फ अपने पार्टनर के इशारों पर ही नाचते है।

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5. साथी के बिना अच्छा महसूस नहीं करना

आपको अपने साथी के बिना खुशी की कमी महसूस होती है। उन्हें अपने साथी के साथ ही अपनी खुशियों का अहसास होता है और वे अकेले या अपने साथी के बिना खुद को संपूर्ण महसूस नहीं कर पाते हैं। इससे उनकी पहचान पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है और उन्हें अपने स्वार्थ और ख़ुशी की खोज में निरंतर रहना पड़ सकता है।

6. झगड़ा होना आम बात है

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कुछ बातें जैसे कि एक साथी का बहुत अधिक निर्भर होना या बहुत अधिक भावुक होना, दूसरे साथी के भावनात्मक और शारीरिक स्वास्थ्य को भी प्रभावित कर सकता है। इसके अतिरिक्त, झगड़ा तब भी हो सकता है जब एक साथी दूसरे साथी की जरूरतों और इच्छाओं से संतुष्ट नहीं होता और अपनी मर्ज़ी चलाना चाहता है। ऐसी स्थितियों में स्ट्रेस और झगड़ा हो सकता है, जो रिश्ते को और अधिक कमजोर बना सकता है।

7. सेल्फ-इजोलेशन

आप अपनी जरूरतों को अनदेखा करते हैं और अपने साथी की सभी इच्छाओं को पूरा करने के लिए अपनी इच्छाओं की हानि करके अकलेपन की और बढ़ने लगते है। आप अपनी खुद की जरूरतों को अनदेखा करते हैं और अपने साथी की खुशी के लिए समय और उपाय ढूंढ़ते हैं। 

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8. साथी की सभी गलतियों को स्वीकार करना

आप अपने साथी की हर गलती को स्वीकार करते हैं और उनके साथ रहने के लिए जी ज़ान से कोशिश करते है।  

9. अपनी आत्म-सम्मान की हानि

ऐसे रिश्तें मैं आप अपने सम्मान को खोने लगते हैं जो आपकी छवि के लिए सही नहीं है।

relationship Codependent
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