Five Things Every Girl Should Know About Menstruation : जब लड़खियाँ 12 साल की होती है तब उनके शरीर में पीरियड्स के लक्षण देखने को मिलते हैं। पीरियड्स के आने से पहले महिलाओं के मसल्स में ऐंठन, सिरदर्द, पेट में दर्द, सूजन, थकान, चिड़चिड़ापन, उदासी, चिंता जैसी समस्याएं घेरने लगती हैं। पीरियड्स के दौरान महिलाओं में बार-बार मूड बदलना, चिड़चिड़ेपन के साथ-साथ चटपटा खाने की इच्छा बढ़ जाती है।
पीरियड्स के बारे जरूरी जानकारी
1. पीरियड्स में खट्टे फलों का सेवन ना करें
पीरियड्स के वक़्त केला, संतरा, मौसमी, नींबू जैसे खट्टे फलों का सेवन ना करे। इन फलों का सेवन करने से पीरियड्स के वक़्त पेट मे दर्द हो जाता है।
2. मीठा खाने की क्रेविंग
पीरियड्स के दौरान महिलओं को अक्सर मीठा खाने की क्रेविंग होती है। इस समय अगर ऐसी ही क्रेविंग होने लगे तो मिठाई या पेस्ट्री की जगह सेब, अनार जैस फल खाएं। ऐसा करने से शरीर में खून लेवल अच्छा होता है। इसके अलावा मूड स्विंग और चिड़चिड़ापन कम करने के लिए डार्क चॉकलेट भी खा सकते है।
3. विटामिन और आयरन करें शामिल
पीरियड्स के दौरान विटामिन जैसी हरी सब्जी और पत्तेदार सब्जियां डाइट में जरूर शामिल करें ताकि शरीर में खून का फ्लो और पी. एच लेवल कंट्रोल रहे। इसके अलावा आलू का सेवन करने से भी खून की क्लॉटिंग यानी फ्लो को कम करने में मदद मिलती है।
4. चाय-कॉफी का अधिक सेवन ना करे
पीरियड्स के दौरान कैफीन का ज्यादा सेवन करने से तकलीफ अधिक बढ़ सकती है। दर्द से राहत पाने के लिए पूरे दिन में 2-3 बार अदरक और तुलसी की चाय पी सकते हैं लेकिन इससे ज्यादा चाय का सेवन न करें वरना इस से एसिडिटी और कब्ज की बीमारी हो सकती है।
5. पैड बदलने में देर नहीं करें
बहुत सी महिलाएं कम ब्लीडिंग होने पर एक ही पैड को लंबे समय तक इस्तेमाल कर लेती हैं। लेकिन इस यह बीमारी की वजह बन सकता है इससे इन्फेक्शन और कैंसर के लक्षण हो सकते है, इसलिए एक टाइम के बाद अपना पैड बदल लें। इससे महिलाएं बीमारी से बची रहेंगी।
चेतावनी : प्रदान की जा रही जानकारी केवल सूचनात्मक उद्देश्य से है। कुछ भी प्रयोग में लेने से पूर्व चिकित्सा विशेषज्ञ से अवश्य परामर्श लें।
सूचना : इस आलेख कोके वल संपादित किया गया है। मौलिक लेखन प्रीती विश्वकर्मा का है।