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Piles: सही खानपान और शारीरिक परिश्रम है बवासीर से बचाव का इलाज

हैल्थ : बवासीर महिलाओं में अक्सर सामने आती है। बवासीर एक तरह की बीमारी है जिसमें मल त्यागने, शौच करने, मल के दौरान खून आनें, पेट में असहनीय दर्द जैसी बहुत-सी समस्याएं पैदा हो जाती हैं। विशेषज्ञों की मानें तो समय रहते बवासीर का इलाज करना जरूरी है।

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Prabha Joshi
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कष्टदायक है बवासीर (Image Credit: Piles Treatment In)

Piles: आजकल के गलत खानपान और व्यस्त जीवनशैली और दिनचर्या के चलते बहुत-सी पाचन संबंधी सम्स्याएं पैदा हो रही है। कुछ भी कभी भी कैसा भी खा लेने से ये समस्याएं इतनी ज्यादा बढ़ जाती हैं कि आगे जाकर संपूर्ण शरीर के लिए खतरा बन रही हैं। इन्हीं समस्याओं में एक समस्या है बवासीर। 

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बवासीर महिलाओं में अक्सर सामने आती है। बवासीर एक तरह की बीमारी है जिसमें मल त्यागने, शौच करने, मल के दौरान खून आनें, पेट में असहनीय दर्द जैसी बहुत-सी समस्याएं पैदा हो जाती हैं। विशेषज्ञों की मानें तो समय रहते बवासीर का इलाज करना जरूरी है। ऐसा इसलिए कि बवासीर से कई तरह की अन्य शारीरिक और मानसिक समस्याएं पैदा हो जाती हैं। 

बवासीर की समस्या क्या है 

बवासीर या पाइल्स एक तरह की पेट संबंधी समस्या है। बवासीर में गुदा मार्ग में मस्से पैदा हो जाते हैं। ये अंदर और बाहर कहीं भी हो सकते हैं। इसके साथ ही मलाशय के आसपास बवासीर के दौरान सूजन भी महसूस की जा सकती है। बवासीर के दौरान मल-त्यागने में बहुत-सी समस्याओं का सामना करना पड़ता है। कई बार बैठे-बैठे भी मल-त्यागने में बहुत परेशानी हो जाती है। ऐसे में बवासीर का इलाज बहुत जरूरी हो जाता है। 

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कितनी तरह की होती है बवासीर 

विशेषज्ञों के अनुसार बवासीर दो प्रकार की है : खूनी बवासीर और बादी बवासीर। खूनी बवासीर और बादी बवासीर दोनों ही कष्टदायक होती हैं। जहां खूनी बवासीर में मल के साथ खून आता है, वहीं बादी बवासीर में किसी भी तरह का खून देखने में नहीं आता। 

बवासीर की समस्या गलत खान-पान के चलते जैसे अधिक मसालेदार खान-पान या तला-भुना खाना, अधिक मोटापा, पानी कम पीना, पेट में गैस या कब्ज, शारीरिक परिश्रम कम करना, मानसिक तनाव, अधिक धूम्रपान या शराब का सेवन, खड़े-खड़े ज्यादा काम करना और गुदा क्षेत्र में दवाब के चलते पैदा हो जाती है। इसके लिए जरूरी है ऐसी गतिविधियों से बचें जो बवासीर को पैदा करें। 

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फाइबर युक्त खान-पान से बचा जा सकता है बवासीर से 

बवासीर से बचने के लिए स्वस्थ खानपान जिसमें पोषक तत्वों के साथ-साथ फाइबर अच्छी मात्रा में हो, को डाइट में शामिल किया जा सकता है। इसके साथ ही फलों का सेवन महत्वपूर्ण हैं। बवासीर उन लोगों को नहीं होती जो शारीरिक परिश्रम करते रहते हैं। सबसे बेहतर इलाज बवासीर का घरेलू इलाज है। जो लोग बवासीर से परेशान हैं वो केले, पपीते, छाछ, पानी, शारीरिक परिश्रम, धूम्रपान और मद्यपान से बचाव, फाइबर युक्त भोजन, ताजी सब्जियों जैसी चीजों को अपनी दिनचर्या में शामिल कर सकते हैं। इसके साथ ही सही समय में सोना और जगना भी बहुत महत्वपूर्ण है। बवासीर के घरेलू इलाज के लिए छाछ को भुने जीरे के साथ लेने से आराम मिलता है। वहीं इसमें केला और दही खाने से भी आराम मिलता है। 

चेतावनी : प्रदान की जा रही जानकारी केवल सूचनात्मक उद्देश्य से है। कुछ भी प्रयोग में लेने से पूर्व चिकित्सा विशेषज्ञ से अवश्य परामर्श लें।

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