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महिलाओं में PCOS और यौन स्वास्थ्य पर इसका प्रभाव क्या है?

पीसीओएस (पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम) महिलाओं के यौन स्वास्थ्य पर कई तरह से असर डाल सकता है। PCOS के कारण ओवुलेशन की समस्या हो सकती है, जिससे गर्भधारण में कठिनाई हो सकती है।

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Pushpa Chauhan
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PCOS

What Is PCOS In Women And Its Effect On Sexual Health: पीसीओएस (पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम) महिलाओं के यौन स्वास्थ्य पर कई तरह से असर डाल सकता है। PCOS के कारण ओवुलेशन की समस्या हो सकती है, जिससे गर्भधारण में कठिनाई हो सकती है। यह असमय गर्भधारण, गर्भपात और अन्य प्रजनन समस्याओं का कारण बन सकता है। हार्मोनल असंतुलन और अन्य लक्षण जैसे थकावट या मानसिक तनाव यौन इच्छा और सेक्स ड्राइव को प्रभावित कर सकते हैं।

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महिलाओं में PCOS और यौन स्वास्थ्य पर इसका प्रभाव क्या है

1. हार्मोनल असंतुलन

पीसीओएस के कारण महिलाओं में एंड्रोजन (पुरुष हार्मोन) का स्तर बढ़ सकता है, जो कि यौन स्वास्थ्य पर निम्नलिखित प्रभाव डाल सकता है।

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कामेच्छा में कमी: हार्मोनल असंतुलन के कारण कुछ महिलाओं में कामेच्छा कम हो सकती है।
वजाइनल ड्राईनेस: इस स्थिति से वजाइनल ड्राईनेस हो सकती है, जिससे यौन क्रिया के दौरान असुविधा हो सकती है।

2. मेंस्ट्रुअल साइकल का अनियमित होना

अनियमित माहवारी: पीसीओएस के कारण अक्सर माहवारी अनियमित हो जाती है। इससे गर्भधारण की संभावना कम हो जाती है, जो कि महिलाओं के यौन स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकता है।

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3. इंफर्टिलिटी (बांझपन)

पीसीओएस बांझपन का एक प्रमुख कारण है। ओवरी में अंडों के विकास और अंडोत्सर्ग की प्रक्रिया में गड़बड़ी होने के कारण गर्भधारण में कठिनाई होती है।

4. वजन बढ़ना

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 पीसीओएस के कारण कुछ महिलाओं में वजन बढ़ सकता है, जो कि उनके आत्मविश्वास और यौन इच्छा को प्रभावित कर सकता है।

5. मनोरोग संबंधी समस्याएँ

डिप्रेशन और एंग्जायटी: पीसीओएस के कारण होने वाले शारीरिक और हार्मोनल परिवर्तन मनोवैज्ञानिक समस्याओं जैसे डिप्रेशन और एंग्जायटी को बढ़ा सकते हैं। ये समस्याएं यौन स्वास्थ्य और कामेच्छा पर भी नकारात्मक प्रभाव डाल सकती हैं।

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6. हिर्सुटिज़्म (अत्यधिक बालों का विकास)

चेहरे और शरीर पर अत्यधिक बालों का विकास, जिसे हिर्सुटिज़्म कहते हैं, पीसीओएस से संबंधित है। यह महिलाओं के आत्म-सम्मान और यौन स्वास्थ्य को प्रभावित कर सकता है।

7. यौन संबंधी दर्द

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पीसीओएस से जुड़ी शारीरिक असुविधा के कारण यौन संबंधों के दौरान दर्द हो सकता है।

8. मेटाबॉलिक सिंड्रोम

 पीसीओएस के कारण महिलाओं में मेटाबॉलिक सिंड्रोम विकसित होने का खतरा बढ़ जाता है, जो कि हृदय रोग और डायबिटीज़ जैसी समस्याओं को जन्म दे सकता है।

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उपचार और देखभाल

पीसीओएस के उपचार के लिए जीवनशैली में परिवर्तन, जैसे स्वस्थ आहार, नियमित व्यायाम और वजन नियंत्रण महत्वपूर्ण है। इसके अलावा, हार्मोनल थेरेपी, दवाएं और मनोवैज्ञानिक समर्थन से भी पीसीओएस से जुड़े यौन स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं को प्रबंधित करने में मदद मिल सकती है। यदि पीसीओएस से जुड़े लक्षण अनुभव हों, तो डॉक्टर से परामर्श लेना आवश्यक है।

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