31 अक्टूबर यानी सोमवार के दिन सुप्रीम कोर्ट में जस्टिस डीवाई चंद्रचूड़ और हिमा कोहली की पीठ ने यह टिप्पणी कि हैं, 'यह कहना "पितृसत्तात्मक और सेक्सिस्ट" है कि एक यौन सक्रिय महिला का बलात्कार नहीं किया जा सकता है
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