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Women's Right: महिलाओं के खिलाफ हो रहे लैंगिक भेदभाव को समाप्त कैसे करें?

कहने को तो समय बदल चुका है, देश आगे बढ़ गया है, पर आज भी कुछ लोग हैं जो वही पुरानी रूढ़िवादी सोच को लेकर चल रहे हैं। ये वही लोग हैं जिन्हें महिलाओं के सेल्फ डिपेंडेंट होने पर शर्म आती है-

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Sneha yadav
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Women rights

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How to end gender discrimination against women? कहने को तो समय बदल चुका है, देश आगे बढ़ गया है, पर आज भी कुछ लोग हैं जो वही पुरानी रूढ़िवादी सोच को लेकर चल रहे हैं। ये वही लोग हैं जिन्हें महिलाओं के सेल्फ डिपेंडेंट होने पर शर्म आती है और जिनके अंदर आग सी लग जाती है जब महिलाएं पुरुषों से कंधा मिलाकर चलती हैं और उन्हें बराबरी की टक्कर देती हैं। आखिर कब तक ये लोग महिलाओं को नीचे रखकर पुरुषों को ऊपर का दर्जा देते रहेंगे? महिलाओं का भी पूरा हक है कि उन्हें बराबरी की इज्जत और बिना किसी भेदभाव के सम्मान मिले। यह लैंगिक भेदभाव कब तक ऐसे ही महिलाओं को दबाकर रखेगा? इस भेदभाव को समाप्त करने के लिए आइए जानते हैं कुछ उपाय:

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महिलाओं के खिलाफ हो रहे लैंगिक भेदभाव को समाप्त करने के 5 उपाय

1. शिक्षा और जागरूकता

भेदभाव को समझने और उसे जानने के लिए शिक्षित होना बेहद जरूरी है। हमें अपने अधिकारों के बारे में जानकारी होना ही जागरूकता का पहला कदम है। पुरुष ही क्यों, महिलाओं को भी स्कूल जाना अनिवार्य होना चाहिए। महिलाएं अगर फाइनेंशली इंडिपेंडेंट होना चाहती हैं तो उनका शिक्षित होना आवश्यक है। अगर वे शिक्षित नहीं होंगी तो अपने हक के लिए कैसे लड़ेंगी?

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2. कार्यस्थलों पर समानता

खुद के पैरों पर खड़ी होने वाली महिलाएं जो खुद के लिए या अपने परिवार के लिए कुछ करना चाहती हैं, कभी-कभी उनके साथ कार्यस्थलों पर भी नाइंसाफी हो जाती है। चाहे वह पुरुष हो या स्त्री, दोनों को समान वेतन और समान इज्जत मिलनी चाहिए और समानता बढ़ाने वाली नीतियों को लागू करना चाहिए।

3. समान अवसर

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महिलाओं को हर क्षेत्र में समान अवसर मिलना चाहिए चाहे वह शिक्षा का क्षेत्र हो, जॉब का क्षेत्र हो, या फिर खेल का क्षेत्र ही क्यों न हो। आजकल की महिलाएं सभी क्षेत्रों में अपना सकारात्मक प्रदर्शन कर रही हैं। देश के विकास के लिए महिलाओं का विकास होना भी जरूरी है।

4. कानूनी संरक्षण

महिलाओं के खिलाफ हो रहे भेदभाव और उनके साथ हो रहे दुर्व्यवहार, अत्याचार को कम करने के लिए कठोर कानून बनने चाहिए। दुर्व्यवहार और अत्याचार करने वालों को कठोर सजा प्रदान करने की गारंटी भी देनी चाहिए। इससे महिलाएं खुलकर अपने साथ हो रहे भेदभाव और दुर्व्यवहार के बारे में बिना किसी डर के सबके सामने प्रस्तुत कर सकती हैं।

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5. मीडिया

मीडिया एक ऐसा माध्यम है जिससे सारे लोग देखकर या सुनकर प्रेरित होते हैं। इसके माध्यम से हम महिलाओं की एक सकारात्मक छवि प्रस्तुत कर सकते हैं। यह महिलाओं के साथ हो रहे भेदभाव को सुधारने के लिए लोगों को जागरूक करने का एक सफल माध्यम है और महिलाओं को उनके अधिकारों से अवगत कराना भी बहुत ही सरल हो जाता है।

सूचना: इस आलेख को केवल संपादित किया गया है। मौलिक लेखन स्नेह यादव का है।

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