Army Day: गुंजन सक्सेना एक ऐसा नाम जो साहस और वीरता को दर्शाता है। एक लड़की जिसने आसमान तक जाने का सपना देखा और पूरा भी किया। युद्ध के छेत्र मे उड़ान भरने वाली यह पहली भारतीय महिला बनी। इनके ऊपर एक फिल्म भी बनी जिसमे उनकी ज़िंदगी के बारे मे बताया गया है और कैसे वह अपने सपने को पूरा की।
Gunjan Saxena: जानिए गुंजन सक्सैना का सपनों की उड़ान भरने का सफर
Early Life
Gunjan Saxena का जन्म 31 अगस्त, 1975 मे लखनऊ मे एक Army Family मे हुआ था। उनके पिता Lt Col Anup Kumar Saxena और उनके भाई Lt. Col. Anshuman दोनों ही Indian Army मे थे। उनके पति Wing Commander Gautam Narain भी एक Indian Air Force pilot है। वह IAF Mi-17 Helicopter के pilot है। उन्होंने National Defence Academy मे instructor के रूप मे भी काम किया है। गुंजन ने दिल्ली के हंसराज कॉलेज से Bachelor of Science in Physics मे graduation की डिग्री हासिल की।
Her Work
Gunjan Saxena Indian Air Force Officer और पूर्व Helicopter Pilot है। उन्होंने 1996 मे IAF जॉइन किया। वह 1999 के Kargil War मे भी शामिल थी और वह युद्ध छेत्र मे उड़ान भरने वाली यह पहली भारतीय महिला बनी। Kargil War मे उनकी मुख्य भूमिका कारगिल से सैनिकों को लाना और उन तक जरूरी चीजें पहुंचाना और निगरानी मे सहायता करना था।
उन्होंने मृत और घायल दोनों तरह के 900 से अधिक सैनिकों को निकालने के अभियान का हिस्सा बनी। 8 सालों तक pilot के रूप मे सेवा करने के बाद 2004 मे उनका helicopter pilot के रूप मे करिअर समाप्त हो गया। उनके समय मे लड़कियों के लिए permanent commission उपलब्ध नहीं था।
Indian Air Force Service
Gunjan Saxena 6 महिलाओं मे से एक थी जिन्होंने 1996 मे Indian Air Force मे pilot के रूप मे जॉइन किया। IAF मे Women Air Force trainees का यह चौथा बैच था। गुंजन की पहली पोस्टिंग Udhampur मे 132 Forward Area Control (FAC) मे flight lieutenant के रूप मे थी। Flying Officer Gunjan Saxena 24 साल की थी जब उन्होंने Kargil War मे अपनी उड़ान भारी और वह Srinagar मे तैनात थी।
Kargil War मे गुंजन ने घायल सैनिकों को निकाला और उन तक मदद भी पहुंचाई, साथ ही उनको दुश्मनों पर नजर रखने का भी काम सौंपा गया था। वह श्रीनगर स्थित उन 10 मे से एक pilot थी जिन्होंने सेंकरों उड़ाने भरी थी और 900 से अधिक घायल और मर्त सैनिकों को निकाला था। Gunjan Saxena एकमात्र महिला थी जिन्होंने कारगिल के युद्ध मे उड़ान भरी।