/hindi/media/media_files/w5NGNpl4rJBfkwifq08h.png)
File image
Who Cares for the Caregiver: हमारे घर में जब कोई बीमार हो जाता है तो उसकी देखभाल कौन करता है। इसका जवाब बहुत ही आसान है। घर पर बीमार हो जाने पर सभी की देखभाल हमारी मदर ही करती हैं लेकिन क्या आपने कभी सोचा है जब हमारी मां बीमार पड़ जाती है तो उनकी देखभाल कौन करता है? सबसे पहली बात तो एक मां अपनी सेहत के बारे में किसी को बताती ही नहीं हैं। उनके पास इतना समय ही नहीं होता है कि वह बीमार होने पर आराम कर लें या फिर बिस्तर पर लेट जाए। उनके ऊपर जिम्मेदारियां का बोझ होता है या फिर उनकी कंडीशनिंग ही ऐसी की जाती हैं कि उनके लिए कई आराम कर लेना भी गुनाह हो जाता है-
एक माँ पूरे परिवार का ध्यान रखती है लेकिन उसका ध्यान कौन रखता है?
हमारे घरों में सदियों से चला रहा है कि एक मां बीमार होने पर भी रेस्ट नहीं करती है। एक तो हमारे घरों में रेस्ट को बहुत ही नेगेटिव वर्ड माना जाता है। ऐसा समझा जाता है कि वह लोग आलसी हैं जो लोग आराम करते हैं, कुछ समय खाली बैठते हैं या फिर वह काम से बचते हैं। ऐसे ही महिलाओं के साथ होता है, जब भी उन्हें लगता है कि उन्हें आराम की जरूरत है या फिर वह काम से कुछ देर ब्रेक लेना चाहती हैं तो लोग उन्हें सेल्फिश बोलने लग जाते हैं या फिर बताते हैं कि इसका तो काम करने का मन ही नहीं है। यह हमेशा काम से जी चुराती हैं लेकिन ऐसा नहीं होता है।
बीमारी में काम करने की ग्लोरिफाई किया जाता है
हर व्यक्ति को आराम की जरूरत होती है। एक पुरुष ऑफिस से थककर घर जाकर आराम कर लेता है लेकिन एक महिला को घर में रहते हुए भी आराम करना नसीब नहीं होता है। पितृसत्तात्मक सोच के कारण आज भी कुछ घरों में बीमार होने पर महिला के काम करने को बहुत ग्लोरिफाई किया जाता है। ऐसा समझा जाता है कि एक 'अच्छी मां' की डेफिनेशन वही होती है जो बीमारी में भी अपने बच्चों की देखभाल करती है या फिर उनके लिए खाना बनाती है और आराम नहीं करती लेकिन यह सोच बिल्कुल गलत है और इसे बदलने की सख्त जरूरत है।
सेहत को प्राथमिकता देना बहुत जरूरी
एक मां को अपनी सेहत को प्राथमिकता सबसे पहले देनी चाहिए। उसके लिए परिवार और बच्चे दूसरे नंबर पर होने चाहिए लेकिन उसकी सेहत और वेल्बीइंग सबसे जरूरी होनी चाहिए। अगर आपका कोई ध्यान नहीं रख रहा है तो यह समय है कि आप अपने लिए एक कदम उठाए और अपनी सेहत का ध्यान रखना शुरू करें। महिलाओं को जीवन के हर पड़ाव में देखभाल की जरूरत होती है। हर महीने महिलाएं पीरियड से गुजरती हैं। एक समय बाद वे प्रेग्नेंट हो जाती हैं और फिर मेनोपॉज हो जाता है। इन सभी चीजों में सही खुराक बहुत जरूरी है। इसके साथ ही महिलाओं को बीमार होने पर रेस्ट जरूर करना चाहिए ताकि उनकी बॉडी हील हो सके।
माएं गलती ये करती हैं कि जब वे बीमार हो जाती हैं तो उन्हें लगता है कि अगर वह आराम करेगी घर के काम नहीं होंगे या फिर बच्चों की देखभाल कौन करेगा, पति का टिफिन कौन बनाएगा लेकिन आपको यह सब सोचने की जरूरत नहीं है। अगर आप अपने आप को प्राथमिकता देने लग जाएंगे तो आपके आसपास के लोग भी आपके अनुसार ढलना शुरू हो जाएंगे। उन्हें भी पता है कि अगर आप बीमार होंगे तो आप काम नहीं करेंगे। इससे वह भी अपनी जिम्मेदारियां को समझने लगेंगे। हमें एक ऐसा एनवायरमेंट बनाना पड़ेगा जहां पर किसी को भी आराम करने पर गिल्टी महसूस ना हो या फिर उन्हें ऐसा ना लगे कि वह कुछ गलत कर रहा है।