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भुजंगासन करते समय इन 5 बातों का रखें ध्यान

एक महत्वपूर्ण योग आसन है जो रीढ़ की हड्डी को लचीला और मजबूत बनाने में मदद करता है। इसे करते समय कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखना चाहिए। ताकि आप इसका पूरा लाभ उठा सकें और चोट से बच सकें।

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Pushpa Chauhan
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Cobra pose exercise

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Keep these 5 things in mind while doing Bhujangasana: भुजंगासन (Cobra Pose) एक महत्वपूर्ण योग आसन है जो रीढ़ की हड्डी को लचीला और मजबूत बनाने में मदद करता है। इसे करते समय कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखना चाहिए। ताकि आप इसका पूरा लाभ उठा सकें और चोट से बच सकें। भुजंगासन एक प्रकार का योगासन है जो कमर की स्थिति को सुधारता है और पृथ्वी तत्व को बढ़ावा देता है। इस आसन को सही तरीके से करने के लिए कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखना चाहिए। 

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भुजंगासन करते समय इन 5 बातों का रखें ध्यान

1. सही प्रारंभिक स्थिति

भुजंगासन (Cobra Pose) को सही तरीके से करने के लिए प्रारंभिक स्थिति या स्थिर आरंभिक पोजिशन का महत्वपूर्ण होता है। पेट के बल लेट जाएं और पैरों को सीधा रखें। पैरों के बीच थोड़ी दूरी रखें और पैर की उंगलियां पीछे की ओर फैलाई हों। अपने हाथों को कंधों के नीचे जमीन पर रखें और कोहनियों को शरीर के पास रखें।

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2. सांस का सही उपयोग

सांस (Breath) का सही उपयोग योग अभ्यास में बहुत महत्वपूर्ण होता है। गहरी सांस लें और धीरे-धीरे अपनी छाती और सिर को उठाएं। अपने नाभि को जमीन पर ही रहने दें। सांस छोड़ते समय अपने कंधों को नीचे और पीछे की ओर ले जाएं। 

3. रीढ़ की हड्डी की सुरक्षा

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अपनी पीठ को बहुत ज्यादा न खींचें। केवल उतनी ही ऊँचाई तक उठें जहां तक आपको आरामदायक लगे और दर्द महसूस न हो। यदि आपको कमर में दर्द हो तो तुरंत आसन को रोक दें। योग आसनों को सही तरीके से करना बहुत महत्वपूर्ण है। असहीत तरीके से आसन करने पर रीढ़ की हड्डी पर दबाव पड़ सकता है और चोट का खतरा बढ़ सकता है।

4. हाथों और कंधों का सही उपयोग

हाथों और कंधों का सही उपयोग योग आसनों को सही तरीके से करने में बहुत महत्वपूर्ण होता है। योग में हाथों और कंधों की सही पोजिशन को बनाए रखने से आसनों के लाभ बढ़ सकते हैं और चोट या घायली का खतरा कम होता है। अपने हाथों का उपयोग केवल सहारे के लिए करें, पूरा भार हाथों पर न डालें। आपकी पीठ के निचले हिस्से और पेट की मांसपेशियों को भी उठाने में मदद करनी चाहिए।

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5. सावधानी और संयम

सावधानी और संयम योग अभ्यास में दो महत्वपूर्ण गुण हैं जो सुरक्षित और प्रभावी अनुभव के लिए आवश्यक होते हैं। योग के दौरान इन दोनों के पालन से आप अपने मानसिक और शारीरिक स्वास्थ्य को सुधार सकते हैं। आसन को धीरे-धीरे और सावधानी से करें। अचानक झटके से बचें और अपने शरीर की सीमाओं का सम्मान करें। आसन को करने के बाद धीरे-धीरे प्रारंभिक स्थिति में वापस आएं। भुजंगासन करने से पहले और बाद में कुछ क्षण विश्राम करें ताकि आपका शरीर आराम कर सके और आसन का पूरा लाभ मिल सके। 

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