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Photograph: (RelationshipCulture)
कई महिलाएँ इंटीमेसी के दौरान ये समझ नहीं पातीं कि वे सच में अराउज़्ड हैं या सिर्फ़ आदत, दबाव या इमोशनल क्लोज़नेस की वजह से इंटीमेट हो रही हैं। हमारी बॉडी और माइंड subtle संकेत देते हैं, जिन्हें sexual cues कहा जाता है। कई बार महिलाएँ इन संकेतों को नज़रअंदाज़ कर देती हैं, और कई बार उन्हें पता ही नहीं चलता कि उनकी बॉडी क्या महसूस कर रही है। लेकिन इन्हें पहचानना ज़रूरी है क्योंकि ये cues हमें अपनी वास्तविक डिज़ायर, कम्फर्ट और बाउंडरीज़ को समझने में मदद करते हैं।
Sexual Cues: क्या आप अपने रियल सेक्सुअल Cues पहचानती हैं?
इमोशनल सेक्सुअल Cues
कई महिलाओं में डिज़ायर की शुरुआत इमोशनल इंटीमेसी से होती है। जब पार्टनर ध्यान से सुनता है, समझ दिखाता है या प्यार भरा व्यवहार करता है, तो एक सुरक्षा की भावना बनती है। जो बॉडी और माइंड दोनों को sexual readiness की तरफ ले जाती है।
फिज़िकल सेक्सुअल Cues
बॉडी कई छोटे sign देता है जैसे त्वचा में warmth, टच करने पर responsiveness, दिल की धड़कन बढ़ना या पार्टनर के करीब आते ही हल्की एक्साइटमेंट फील होना। ये subtle cues बताते हैं कि बॉडी इंटीमेसी के लिए ओपन हो रही है। हर महिला के physical responses अलग होते हैं, इसलिए अपने पैटर्न को समझना ज़रूरी है।
मेंटल या Thought Based Cues
कई महिलाओं के लिए सेक्सुअल डिज़ायर फिज़िकल नहीं बल्कि mental cues से शुरू होती है। क्योंकि माइंड सेक्सुअल डिज़ायर में सबसे बड़ा रोल प्ले करता है। कई बार कोई फैंटेसी, मेमोरी, अट्रेक्शन या इमेजिनेशन भी एक्साइटमेंट बढ़ा सकता है। अगर आपका माइंड पहले stimulate होता है, तो यह आपका नेचुरल cue है।
सिचुएशनल या Context based Cues
आपके आस पास का माहौल सेक्सुअल cues को बहुत प्रभावित करता है। प्राइवेसी, कम्फर्ट, पॉज़िटिव कन्वर्जेशन, रिलेक्स्ड एनवायरनमेंट जैसे संकेत डिज़ायर को बढ़ा सकते हैं। जबकि तनाव, थकान या प्रेशर तुरंत sexual interest को कम कर देते हैं।
नेगेटिव Cues पहचानना भी है ज़रूरी
महिलाओं के लिए पॉज़िटिव sexual cues को पहचानना जितना ज़रूरी है, उतना ही ज़रूरी है “नो डिज़ायर” सिग्नल्स को समझना। अचानक डिस्कंफ़र्ट महसूस होना, बॉडी का टेन्स हो जाना, irritation, या पार्टनर के टच पर डिसकनेक्ट महसूस होना। ये संकेत बताते हैं कि बॉडी इंटीमेसी के लिए तैयार नहीं है। इन्हें इग्नोर करना खुद को पुश करने जैसा है, जो आगे चलकर emotional burden और resentment पैदा कर सकता है।
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